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सात
१२९-१७६
नयवाद सापेक्ष दृष्टि भगवान् महावीर की अपेक्षा दृष्टिया समन्वय की दिशा धर्म-समन्वय धर्म और समाज को मर्यादा और समन्वय समय की अनुभूति का तारतम्य और
सासजस्य विवेक और समन्वय-दृष्टि राजनीतिक वाद और अपेक्षा-दृष्टि प्रवृत्ति और निवृत्ति श्रद्धा और तर्क समन्वय के दो स्तम्म नथ या सवाद स्वार्थ और परार्थ वचन-व्यवहार का वर्गीकरण नयवाद की पृष्ठ-भूमि सत्य का व्याख्याद्वार नय का उदेश्य नय का स्वरूप
नैगम
संग्रह और व्यवहार व्यवहारनय ऋजुसूत्र शब्दनय सममिरुढ़