Book Title: Vagbhattalankar
Author(s): Vagbhatt Mahakavi, Satyavratsinh
Publisher: Chaukhamba Vidyabhavan

View full book text
Previous | Next

Page 12
________________ अकारादिविषयानुक्रमणिका विषय अतिशय अद्भुत अनन्बयोपमा अनथक " --..१२ १३८ १३३ परिच्छेद लोक | विषय .:. परिच्छेदः, श्लोक ४ १.१ | उत्प्रेक्षा उपमा उपमेयोपमा एकव्यंजनचित्र एकनिष एकावली १३.५ ओजः ( गुण ) औदार्य करुण करुणार , कान्ति काव्यनिर्माणशिक्षा काव्यशरीर खण्डित गुणप्रयोजन गुण गौमुत्रिकाबन्ध गौडीया रीति " १४१ माम्य २ १५ २६ | चित्र १४ | छत्रबन्ध ( सचित्र) २० | छन्दोभ्रष्ट ७४ | छेकानुप्रास ঋন্না अजुमान अपक्रम अपगुति अप्रसिद्ध अप्रस्तुतप्रशंसा अभ्यास अर्थदोष अर्यविन्यासप्रकार अर्थव्यक्ति अर्थान्तरन्यास अर्थालोकहेतु अलक्षण प्रकारोपयोगिता अवसर असक्रिय घसम्मत असम्मित आक्षेप २६ ।

Loading...

Page Navigation
1 ... 10 11 12 13 14 15 16 17 18 19 20 21 22 23 24 25 26 27 28 29 30 31 32 33 34 35 36 37 38 39 40 41 42 43 44 45 46 47 48 49 50 51 52 53 54 55 56 57 58 59 60 61 62 63 64 65 66 67 68 69 70 71 72 73 74 75 76 77 78 79 80 81 82 83 84 85 86 87 88 89 90 91 92 93 94 95 96 97 98 99 100 101 102 103 104 105 106 107 108 109 110 111 112 113 114 115 116 117 118 119 120 121 122 123