Book Title: Pavitra Kalpasutra
Author(s): Bechardas Doshi
Publisher: Jashwantbhai N Shah Ahmedabad

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Page 20
________________ અસ્તવ્યસ્ત पेत्तेज्जए १२२ अणेगगणनायग. माहि सामासिवाध्य १०७ पित्तिज्जे अंतरावास १२३ अंतगडे १२६-२७ सूत्र २३२ पज्जोसवियाणं २८१ अणट्ठाबंधिस्स अंतरवास (नथी) પૂર્વાપર છે. पज्जोसबिए अट्ठाणबंधिस्स सूत्रांक ટિપ્પનકકારે સ્વીકારેલા પાઠભેદો मुद्रित सूत्रपाठ टिप्पनकपाठभेद पुप्वरत्तावरत्त अड्डरत्तावरत्त -माणंदिया -माणंदिया णंदिया अत्थोग्गहं अत्थोग्गहणं विनाय विनयधारए वारए परिनिट्टिए सुपरिनिट्ठिए महयाहयनट्टगीयवाइयतंतीतलताल महयाहयनट्टीगीयवाइयसंखसंखियखरमुहीपोतुडियघणमुइंगपडुपडहवाइयरवेणं यापिरिपिरियापणवपडहभंभाहोरंभभेरीझल्लरीदंदुहिततविततघणझुसिरतंतीतलतालतु डियमुइंगपडुनाइयरवेणं रयणाणं इत्याहि अहाबायरे रयणाणं जाव अहाबायरे पुव्वरत्तावरत्त अड्डरत्तावरत्तअतुरियं अचवलमसंभंताए अतुरियमसंभंताए फलवित्तिविसेसे फलविसेसे -चुंचुमालइयरोमकूवे चुंचुमालइए ऊसवियरोमकूवे -संपुन्न -पुन्नविनाय विनय cww ११ Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org

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