Book Title: Painnay suttai Part 2
Author(s): Punyavijay, Amrutlal Bhojak
Publisher: Mahavir Jain Vidyalay
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२६६
गाहा
आहारो उस्सासो
ऊसासो
परिणामो
"
आहिंडिऊण वसुहं
33
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इ
इकस्स कए नियजीवियस्स इकं अप्पाणं जाणिऊण
पंडियमरणं छिण्णइ
'पइण्णयसुत्ताई भाग १ - २' गंथाणं गाहाणं भणुकमो
गाईको
४८६
२३२
३४३
२४२६
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33
इको करेइ कम्म इक्खावंसंभवइगतीसा ओजगुणा
इग- दुग-तिग-चउ पण- छगइगवीस जोयणाई
इस इस्साईं भणिया
*
33
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sari निरागारं इच्चेयं गणि पिडगं
इच्वमा कव
पडिवजह
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वासाणं...। अणि°
| अब्वो°
दुक्खं दोसा
"
इच्छर असंतमत्थं
* इच्छमणिच्छं पुरा करेजा
इच्छं ति भणिय खवगे इच्छंतेणिच्छते इच्छा इच्छाउडू बिगुणितो
इच्छा तु मग्गरूवूण
इच्छा नक्खतातो
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33
इच्छापत्रगुणातो इच्छापव्वेहि गुणं
इच्छा पुष्णिमगुणितो
इच्छा बहुविधा लोए इच्छाभिभूया न जाणंति इच्छा -मिच्छाईसुं
• इच्छामि भंते! उत्तमहं
1667
७७७
982
१०२९
१३३५
३०७१
३४३६
७८४
२७३
४५०२
४४०७
४४०६
१४२३
४४११
888
858
1235
1380
२०४९
151
२०५३
३४१७
३३५२
३५२३
३५०८
३४९०
३४८४
गाहा
गाहंको
२०५२
इच्छामूलं नियच्छंति इच्छामो अगुसडिं...। ...करेमि वि° २७९४,
1649
,,
इच्छामोति भणित्ता इत्थ सा इच्छितविसुवा बिगुणा इजणविप्प ओगो
विओओ गरुओ -सिया
अणि य
रहओ
इमो य समुद्दि
33
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सुगगहो सुणह महत्थं
मु
सबसिस्स उ
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इत्तरसागारे पुण इत्तिरियं सव्वगणं
इत्तो चिय निश्चं से
इत्थ किर विमाणाणं पन्नासं
बत्तीसं
*
""
33
पुण भावणाओ
93
इथिकह भत्त देसे
समप्पर इणमो
इत्थी उ बलवं जत्थ
इत्थी नामिट्ठा
stasia बस
इत्थी पुण उद्घडिया
इत्थी लिंगे सिद्धा
इध जं करते कम्मं
इन्द्रियैरभिभूतेन
२०५०
२०५१ इमा विज्जा महाविज्जा
2644
२८२३
काहामि
हियं
इमं चैव य सरीरं सीसघडी
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*
• इमो खलु अम्मा-पिउसंजोगे अगुणोओ
753
२६५९
२९६१
३४३४
१३५९
2410
९४३
1730
22/6
३३२१
१३७९, ४७४६
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