Book Title: Anusandhan 2020 02 SrNo 79
Author(s): Shilchandrasuri
Publisher: Kalikal Sarvagya Shri Hemchandracharya Navam Janmashatabdi Smruti Sanskar Shikshannidhi Ahmedabad

View full book text
Previous | Next

Page 12
________________ जान्युआरी - २०२० स्तोत्रगत तीर्थंकरनाम प्रचलित तीर्थंकर नाम । प्रासादनाथ प्रसादनाथ मलसिंह मलयसिंह नन्दकेश नन्दिकेश श्यामकोष्ठ श्यामकोष्ट नन्दिघोष नन्दिकेश अनुमाने १६मा शतकनी, प्रायः कर्ताना स्वहस्तनी, त्रण पानांनी हस्तप्रतिनी जेरोक्स नकलना आधारे आ सम्पादन करेल छे. प्रति पर कोई भण्डारनो सिक्को छे परन्तु ते उकलतो नथी. पण प्रायः आ नकल कोबा ना श्रीकैलाससागरसूरिज्ञान भण्डार तरफथी प्राप्त थई जणाय छे. ते संस्थानो आभार. महोपाध्यायश्रीआगममण्डनगणिगुरुभ्यो नमः ॥ सुदर्शननराधीश-वंशमाणिक्यसंनिभम् । श्रीअरं सर्वकल्याण-कारणं संस्तुमो जिनम् ॥१॥ गङ्गापानीयशुद्धान्त:-करणं करुणालयम् । श्रीमद्गाङ्गिकतीर्थेशं नमत प्रभुतापदम् ॥२॥ धर्मोपदेशनिष्णातं तन्द्रातिमिरभास्करम् । .............. श्रीअयोगं सदा स्तुवे ॥३॥ विश्वत्रयीजनाम्भोज-प्रकाशननभोमणिम् । प्रासादनाथतीर्थेशं नमामि गुणसागरम् ॥४॥ केवलज्ञानसल्लक्ष्मी-निकेतनं गतस्पृहम् । सेवे सर्वश्रियो वासं मलसिंहं जिनेश्वरम् ॥५॥ मुक्तिपुर्या महासार्थं सर्वार्थसाधने परम् । अतिपाश्र्वं जिनाधीशं मथितानर्थमानम ॥६॥ व्यवायवल्लिसङ्घात-च्छेदने घनसोदरम् । विवेकनाथमस्ताघं श्रये सौख्यावहं मुदा ॥७॥ निन्दानिदानरहितं नरमहितं नन्दकेशसर्वज्ञम् । निर्जितमोहकरेणुं निर्भयमिह नौम्यनन्तगुणम् ॥८॥

Loading...

Page Navigation
1 ... 10 11 12 13 14 15 16 17 18 19 20 21 22 23 24 25 26 27 28 29 30 31 32 33 34 35 36 37 38 39 40 41 42 43 44 45 46 47 48 49 50 51 52 53 54 55 56 57 58 59 60 61 62 63 64 65 66 67 68 69 70 71 72 73 74 75 76 77 78 79 80 81 82 83 84 85 86 87 88 89 90 91 92 93 94 95 96 97 98 99 100 101 102 103 104 105 106 107 108 109 110