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— अनुष्य का अल)
- अनुभव का उत्पल)
एक साथ नहीं
विलासी जीवन में धन चमकता है। सादगीपूर्ण जीवन में व्रत चमकते हैं।
धन और व्रत दोनों एक साथ नहीं चमक सकते। न्याय साधनों द्वारा जीवन-निर्वाह योग्य धन मिल जाता है किन्तु आडम्बर और विलास योग्य धन नहीं मिलता। विलास के लिए धन का अतिरेक और उसके लिए अन्यायपूर्ण तरीकों का अवलम्बन होता है, व्रत टूट जाते हैं।
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