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पुद्गल द्रव्य
209 सूक्ष्म-स्थूल (Ultravisible but intrasensual Matter)-ऐसे पदार्थ इस वर्ग में आते हैं जिन्हें हम नेत्र इन्द्रिय से तो नहीं जान पाते लेकिन शेष चार इन्द्रियों में से किसी न किसी के द्वारा अवश्य जान सकते हैं जैसे उद्जन (Hydrogen), जारक (Oxygen) आदि गैसें तथा ध्वनि आदि।
सूक्ष्म (Ultrasensual Matter)-इस वर्ग में वे सूक्ष्म पुद्गल स्कंध आते हैं जो अतीन्द्रिय हैं व विचार-क्रिया जैसी क्रियाओं के लिए अनिवार्य हैं जैसे मनोवर्गणा, भाषावर्गणा, कार्मणवर्गणा।
अति सूक्ष्म (Ultimate atom)-इस वर्ग में सूक्ष्मतम स्कंध आते हैं जैसे द्विप्रदेशी स्कंध आदि। स्कंध के तीन भेद
पुद्गल या स्कंध परिणमनशील है। यह परिणमन-स्वयमेव तो होता ही है जीव के निमित्त से भी होता है, इस परिणमन प्रक्रिया की दृष्टि से स्कंध के तीन भेद कहे गये हैं यथा
'तिविहा पोग्गला पण्णत्ता, पओगपरिणया, मीसापरिणया, वीससापरिणया य। -भगवती सूत्र 8/1/1
अर्थात् तीन प्रकार के पुद्गल परिणमन को प्राप्त होते हैं-(1) प्रयोग-परिणत (2) मिश्र-परिणत (3) विस्रसा-परिणत।
(1) प्रयोग-परिणत (organic Matter)-ऐसे पुद्गल जो जीव के सयोग से परिणमन को प्राप्त हुए हैं, प्रयोग परिणत कहे जाते हैं जैसेइन्द्रियाँ, शरीर, रक्त आदि।
(2) मिश्र-परिणत-ऐसे पुद्गल जो जीव द्वारा परिणमन को प्राप्त