Book Title: Maithili Kalyanam Natakam
Author(s): Hastimall Chakravarti Kavi, Manoharlal Shastri
Publisher: Manikchand Digambar Jain Granthamala Samiti

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Page 15
________________ नमः परमात्मने । अथ श्रीमद्हस्तिमल्लकविविरचितं मैथिली कल्याणं नाटकम् । एंड्रॉइ यः प्रस्तोता त्रिलोक्यां प्रतिहतविपदां संमतानां कृतीनां यं च स्तोता स्वयं च स्तुतिशतपदवी वाग्वधूवल्लभानाम् । कल्यः कल्याणभागिश्रियमनुपर मामाप्तवानाप्तरूपः सोऽयं भद्रं विधेयाद्दशरथतनयः साधु वो रामभद्रः ॥ १ ॥ ( नांद्यंते ) सूत्रधारः - अलमतिविस्तरेण । ( नेपथ्याभिमुखमवलोक्य) आर्य 'इतस्तावत् । ( प्रविश्य ) नटी - अज्ज इयम्मि । सूत्रधारः—गृह्यतां नेपथ्यरचना | नटी -- किंणु खु दाणिं अज्जो सविसेसं समूसुओ संगीआरंभे । १ आर्य इयमस्मि । २ किं नु खलु इदानीं आर्यः सविशेषं समुत्सुकः संगीतारंभ ।

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