Book Title: Agam 15 Upang 04 Pragnapana Sutra Part 01
Author(s): Shyamacharya, Punyavijay, Dalsukh Malvania, Amrutlal Bhojak
Publisher: Mahavir Jain Vidyalay

Previous | Next

Page 395
________________ ३४२ पण्णवणासुत्ते एगवीसइमे ओगाहणसंठाणपए [सु. १५३३ [सुत्तं १५३३. आहारगसरीरे विहिदारं] १५३३. [१] आहारगसरीरे णं भंते ! कतिविहे पण्णते ? गोयमा ! एगागारे पण्णत्ते। [२] जदि एगागारे पण्णत्ते किं मणूसआहारयसरीरे अमणूसआहारगसरीरे ? गोयमा ! मणूसआहारगसरीरे, णो अमणूसआहारगसरीरे । [३] जदि मणूसआहारगसरीरे किं सम्मुच्छिममणूसआहारगसरीरे गब्भवतियमणूसआहारगसरीरे ? गोयमा ! णो सम्मुच्छिममणूसआहारगसरीरे, गब्भवक्कंतियमणूसआहारगसरीरे । [४] जदि गब्भवतियमणूसआहारगसरीरे किं कम्मभूमगगब्भववंतिय१० मणूसआहारगसरीरे अकम्मभूमगगन्भवतियमणूसआहारगसरीरे अंतरदीवगगब्भ वऋतियमणूसआहारगसरीरे ? गोयमा ! कम्मभूमगगन्भवतियमणूसआहारगसरीरे, णो अकम्मभूमगगब्भवक्रतियमणूसआहारगसरीरे णो अंतरदीवगगन्भवतियमणूसआहारगसरीरे। [५] जंदि कम्मभूमगगब्भवक्कंतियमणूसआहारगसरीरे किं संखेजवा१५. साउयकम्मभूमगगब्भवतियमणूसआहारगसरीरे असंखेजवासाउयकम्मभूमगगन्भ वक्रतियमणूसआहारगसरीरे ? गोयमा! संखेजवासाउयकम्मभूमगगब्भवतियमणूसआहारगसरीरे, णो असंखेजवासाउयकम्मभूमगगब्भवक्कंतियमणूसआहारगसरीरे । [६] जदि संखेजवासाउयकम्मभूमगगन्भवतियमणूसआहारगसरीरे किं पज्जत्तगसंखेज्जवासाउयकम्मभूमगगब्भवतियमणूसआहारगसरीरे अपज्जत्तग२० संखेजवासाउयकम्मभूमगगब्भववंतियमणूसआहारगसरीरे ? गोयमा ! पज्जत्तग संखेजवासाउयकम्मभूमगगब्भवक्कंतियमणूसआहारगसरीरे, णो अपज्जतगसंखेजवासाउयकम्मभूमगगब्भवतियमणूसआहारगसरीरे । [७] जदि पजत्तगसंखेजवासाउयकम्मभूमगगन्भवतियमणूसआहारगसरीरे किं सम्मद्दिट्ठिपज्जतगसंखेजवासाउयकम्मभूमगगब्भवक्कंतियमणूसआहारग२५ सरीरे मिच्छद्दिट्ठिपज्जत्तगसंखेजवासाउयकम्मभूमगगब्भवतियमणूसआहारगसरीरे सम्मामिच्छद्दिट्ठिपज्जत्तगसंखेज्जवासाउयकम्मभूमगगब्भवतियमणूसआहारगसरीरे ? गोयमा! सम्मद्दिट्ठिपज्जत्तगसंखेजवासाउयकम्मभूमगगब्भवक्कतियमणूसआहारगसरीरे, णो मिच्छद्दिट्ठिपजत्तगसंखेजवासाउयकम्मभूमगगब्भववतियमणूसआहारगसरीरे णो सम्मामिच्छद्दिट्ठिपज्जत्तगसंखेजवासाउयकम्मभूमगगब्भवतियमणूसआहारगसरीरे । Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org

Loading...

Page Navigation
1 ... 393 394 395 396 397 398 399 400 401 402 403 404 405 406 407 408 409 410 411 412 413 414 415 416 417 418 419 420 421 422 423 424 425 426 427 428 429 430 431 432 433 434 435 436 437 438 439 440 441 442 443 444 445 446 447 448 449 450 451 452 453 454 455 456 457 458 459 460 461 462 463 464 465 466 467 468 469 470 471 472 473 474 475 476 477 478 479 480 481 482 483 484 485 486 487 488 489 490 491 492 493 494 495 496 497 498 499 500 501 502 503 504 505 506