Book Title: Valmiki Ramayana Pada Suchi Part 1
Author(s): Govindlal H Bhatt
Publisher: Oriental Research Institute Vadodra

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Page 77
________________ अश्वमेधं महायज्ञम् VII. 65.18c 91.IIC " अश्वमेधशतैरिया I. 1.94c अश्वमेधस्य यज्ञस्य I. 14.39c अश्वमेधाय लक्ष्मण VII. 91.13d अश्वमेधाश्रितं वच: VII. 91.6d अश्वमेधाश्रितं श्रुत्वा VII. 91.8c अश्वमेधे महायज्ञे I. 14.20 در "" 2) "3 14.44c अश्वमेधो महायज्ञः VII. 84.2a अश्वं मुक्तं गजो दृष्ट्वा VI. 75.28a अश्वयुक्तो रथो मह्यम् VII. 30.13a अश्वरत्नोत्तमं तत्र I. 14.32c अश्वस्याश्रममेवाहं II. 116.200 अश्वहर्तारमासाद्य I. 40.11C अश्वहर्तारमेव च I. 40.9b अश्वाञ्जघान तरसा VI. 98. gc अश्वानां खादनेनाहम् II. 50.45a अश्वानां खुरशब्दैश्व VI. 127.200 अश्वानां प्रतिपानं च II. 50.47a अश्वानारुह्य शीघ्रगान् II. 96.1gb अश्वानां षष्टिकोट्यस्तु VI. 95.28a अश्वानुष्ट्रान्खरान्नागान् VI. 60.45c अश्वान्यानानि रत्नानि VII. 39.ga अश्वारोहास्तथाश्वैश्च VII. 7.5c अश्विनाविव मन्दरम् II. 58. Iod अश्विनाविव रूपेण I. 48.3c "" 19 50.18c अश्विनाविव वासवम् VII. 6.3gd अश्विनोरिव सौभ्रात्रम् II. 8. 31c अश्विनोर्माननार्थं हि V. 60.20 अश्विनौ च परंतप III. 14.15b अश्विनौ च महात्मानौ V. 13.640 अश्विनौ चापि कर्णौ ते VI. 117.8c अश्विनौ मरुतोऽपि च V. 13.54b Jain Education International 17 33 ७० अश्विनौ मरुतो मनुः VI. 105.gb अश्विनौ रूपसंमतौ I. 17.14b अश्विपुत्रौ महाबलौ IV. 39.25b अश्विपुत्रौ महावेगी V. 59.17a ,, 39 60. IC अश्विभ्यां समरुद्गणैः VII. 28.27b अश्वे च विनियुज्य च VII. 92.2b अश्वैरश्वान्गजैर्नागान् V. 46.3ga अंशुकानि च रम्याणि V. 9.590 अंशुकान्ताश्च काचित् V. 9.53a अंशुमन्तमिवोदितम् VII. 21.8b अंशुमन्तं सुधार्मिकम् I. 42.1d अंशुमानकरोत्तात I. 39.7a अंशुमानपि पुत्रोऽभूत् II. 110.27a अंशुमानिव वीर्यमान् VI. 69. 83d अंशुमान्रघुनन्दन I. 42.2b अंशेनापि नृपात्मज IV. 36.6d अष्टका पितृदेवत्यम् II. 108.14a अष्टघण्टं महानादम् VI. 102.59c अष्टघण्टां महास्वनाम् VI. 100.30b अष्टभिः सायकैः सूतम् III. 27.15 अष्टवर्ग त्रिवर्गं च II. 100.68c अष्टादशशरैस्तीक्ष्णैः VI. 73.43a अष्टादश सहस्त्राणि VI. 93.30c VII. 94.17C अष्टादश हि वर्षाणि III. 47.11a अष्टमिरथ नाराचैः VI. 79.29c अष्टावक्रेण धर्मात्मा VI. rig.16c अष्टाः सर्व एव I. 14.260 अष्टौ च कन्या रुचिराः II. 14.36a 15.8a دو " د. 23 " 93 अष्टौ बभूवुरस्य I. 7.2a अष्टौ वर्षसहस्राणि IV. 60. ga असकृत्तद्भयाद्भग्ना: VII. 11.6a असकृत्तैर्महाभागैः V. 64.20a For Private & Personal Use Only ܙ ܕ www.jainelibrary.org

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