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भौगोलिक दशा
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वाड़वान' : इसे वल्लवाड़ या वलयवाड़ या वलवाड़ कहते थे, जो कोल्हापुर से लगभग २७ मील दक्षिण-पश्चिम में वर्तमान राधा नगरी में स्थित था । 2 वाह्लीक' : इसका उल्लेख मेहरौली स्तम्भ लेख में हुआ है, जो पंजाब में स्थित था ।
विदेह : इसकी स्थिति बिहार में मिथिला के आस-पास थी । विदर्भ' : इसमें वरदा नदी बहती थी । इसे आधुनिक बरार से समीकृत करते हैं । "
विन्ध्य : यह उत्तर और दक्षिण भारत की सीमा रेखा है । ऋक्ष, विन्ध्य एवं पारिपात उस सम्पूर्ण भू-भाग के अंग हैं, जिसे सम्प्रति विन्ध्य कहा जाता है ।" इसीके आस-पास क्षेत्र को विन्ध्य देश कहा गया है ।
शक' : शकों को गुजरात, काठियावाड़ के आस-पास के क्षेत्र से समीकृत किया गया है ।
शकट : हरिवंश पुराण में इसकी स्थिति भरत क्षेत्र में बतायी गयी है ।" शङ्खा : हरिवंश पुराण में इसकी स्थिति पश्चिम विदेह के सीतोदा नदी एवं नील पर्वत के मध्य में बतायी है ।"
शाल्व (साल्व) १२ : पाणिनि के सूत्र में शाल्व जनपद में औदुम्बर, मद्रकार, युगन्धर, भूलिंग एवं शरदण्ड सम्मिलित थे । शाल्व आधुनिक अलवर के पास था । महाभारत के अनुसार यह कुरुक्षेत्र के पास था । "
१. हरिवंश ३।६
२. लाहा - वही, पृ० ५०१
महा १६।१५६, ३०।१०७ पद्म १०१।८३; हरिवंश ३।५
४. वही १६।१५५, ६६।२०; हरिवंश २19
५
वही ७१।३४१; हरिवंश १७।२३
६. लाहा वही, पृ० ५६८
७. पद्म १०१८३
लाहा - वही, पृ० ५०२-५०३
६. महा १६।१५६; पद्म १०१।८१
१०. हरिवंश २७।२०
११. वही ५। २५१
१२ . वही ३।३
१३. लाहा -- वही, पृ० २०८
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