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गांव है किसके जैसा योगमें है प्रवेश जिन्होंका ऐसे योगियोंके जैसा जिस कारणसे योगीभी मनोगुप्त्यादिकसे गुप्त होवे है और जिस देशमें ठिकाने २ नहीं उल्लंघे जाय ऐसे ऊंचे पर्वत हैं कुटुम्बमिलापके जैसे ॥ ३८॥
पए पए जत्थ रसाउलाओ, पणंगणाओव तरंगिणीओ।
पए पए जत्थ सुहंकराओ, गुणवलीउब वणावलीओ ॥३९॥ अर्थ-जिस देशमें ठिकाने २ जलसेभरी हुई नदियां हैं किसके जैसी वेश्याओंके जैसी वेश्याभी श्रृंगाररससे आकुल होवे है और जिस देशमें सुखकारी वनोंकी श्रेणी है किसके जैसी गुणोंकी श्रेणीके जैसी गुणोंकी श्रेणीभी सुख करनेवाली होवे है ॥ ३९॥
पए पए जच्छ सवाणियाणि, महापुराणीव महासराणि ।
पए पए जत्थ सगोरसाणि, सुहीमुहाणीव सुगोउलाणि ॥ ४०॥ ___ अर्थ-जिस देशमें ठिकाने २ पानीसे भरे हुए बड़े सरोवर हैं किसके जैसे महानगरके जैसे बड़े नगरभी वानियों 51 लेकरके सहित होवे हैं और जिस देशमें ठिकाने २ शोभन गोकुल हैं दही दूधसहित हैं किसके सदृश पंडितोंके मुखके हासदृश पंडितोंके मुखभी गो नाम वाणीके रससहित होवे हैं ॥ ४० ॥
तत्थय मालवदेसे, अकय पवेसे दुकाल डमरेहिं । अत्थि पुरीपोराणा, उज्जेणी नाम सुप्पहाणा॥४१॥
KARACASUASANTARA
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