Book Title: Agam 15 Upang 04 Pragnapana Sutra Shwetambar Agam Guna Manjusha
Author(s): Gunsagarsuri
Publisher: Jina Goyam Guna Sarvoday Trust Mumbai

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Page 18
________________ (१५) पण्णवणा पय- १ [ ७ ] बहुबीयगाय । ४० से किं तं एगट्ठिया ? एगट्टिया अणेगविहा पण्णत्ता । तं जहा णिबंब जंबु कोसंब साल अंक्कोल्ल पीलु सेलू य । सल्लइ मोयइ मालुय वउल पलासे करंजे य ॥ १३ ॥ पुत्तंजीवयऽरिठ्ठे बिभेलए हरडए य भल्लाए । उंबेभरिया खीरिणि बोधव्वे धायइ पियाले ||१४|| पूईकरंज सेण्हा ( सण्हा) तह सीसवा य असणे । पुण्णागणागरुक्खे सीवण्णि तहा असोगे य ॥ १५॥ जे यावऽण्णे तहप्पगारा। एतेसि णं मूला वि असंखेज्जजीविया, कंदा वि खंधा वि तया वि साला वि पवाला वि । पत्ता पत्तेयजीविया। पुप्फा अणेगजीविया। फला एगट्ठिया से तं एगट्टिया । ४१. से किं तं बहुबीयगा ? बहुबीयगा अणेगविहा पण्णत्ता । तें जा अत्थियतिंदुकविट्ठे अंबाडग माउलिंग बिल्ले य । आमलग फणस दाडिम आसोत्थे उंपर वडे य || १६ || जग्गोह मंदिरुक्खे पिप्परि सयरी पिलुक्खरुक्खे य । काउंबरि कुत्थंभरि बोधव्वा देवदाली य ||१७|| तिलए लउए छत्तोह सिरीसे सत्तिवण्ण दहिवन्ने । लोद्ध धव चंदणऽज्जुण णीमे कुडए कयंबे य ॥ १८ ॥ जे यावऽण्णे तप्पगारा। एएसिणं मूला वि असंखेज्जजीविया, कंदा वि खंधा वि तया वि साला वि पवाला वि । पत्ता पत्तेयजीविया । पुप्फा अणेगजीविया । फला बहुबीया । से बहुबीयगा । सेतं रुक्खा । ४२. से किं तं गुच्छा ? गुच्छा अणेगविहा पण्णत्ता । तं जहा वाइंगण सल्लइ बोंडई य तहा कच्छुरी य जासुमणा। रूवी आढ नीली तुलसी तह माउलिंगी य ॥ १९ ॥ कत्थंभरि पिप्पलिया अतसी बिल्ली य कायमाई या । चुच्चु पडोला कंदलि बाउच्चा वत्थुले बदरे ||२०|| पत्तउर सीयउरए तास बोधव्वे । णिग्गुंडि अक्क तूवरि आढई चेव तलऊडा ||२१|| सण वाण कास मद्दग अगघाडग साम सिंदुबारे य । करमद्द अद्दरूसग करीर एरावण महत् ||२२|| जाउल माल परिली गयमारिणि कुच्च कारिया भंडी। जावइ केयइ तह गंज पाडला दासि अंकोल्ले ||२३|| जे यावऽण्णे तहप्पगारा। से त्तं गुच्छा । ४३. किं तं गुम्मा? गुम्मा, अणेगविहा पण्णत्ता । तं जहा सेरियए णोमालिय कोरंटय बंधुजीवग मणोज्जे । पीईय पाण कणइर कुज्जय तह सिंदुवारे य ||२४|| जाई मग्र तह जूहिया तह मल्लिया य वासंती । वत्थुल कच्छुल सेवाल गंठि मगदंतिया चेव ॥२५॥ चंपगजाती णवणीइया य कुदो तहा महाजाई । एवमणेगागारा हवंति गुम्मा मुणेयव्वा ॥ २६ ॥ से तं गुम्मा | ४४. से किं तं लयाओ ? लयाओ अणेगविहाओ पण्णत्ताओ । तं जहा पउमलता नागलता असोग-चंपयलता य चूतलता । वणलय वासंतिलया अइमत्तय कुंद-सामलता ॥२७॥ जे यावऽण्णे तहप्पगारा। से तं लयाओ। ४५. से किं तं वल्लीओ ? वल्लीओ अणेगविहाओ पण्णत्ताओ । तं जहा पूसफली कालिंगी तुंबी तउसी य एलवालुंकी । घोसाडई पडोला पंचंगुलिया य णालीया ||२८|| कंगूया कहुइया कक्कोडइ कारियल्लई सुभगा | कुवधा (या) य वागली पाववल्लि तह देवदारू य ॥२९॥ अप्फोया अइमुत्तय णागलया कण्ह-सूरवल्ली य संघट्ट सुमणसा वि य जासुवण कुविदंवल्ली य ॥३०॥ मुद्दिय अप्पा भल्ली छीरविराली जियंति गोवाली। पाणी मासावल्ली य वच्छाणी ॥३१॥ ससबिंदु गोत्तफुसिया गिरिकण्णइ मालुया य अंजणई। दहफुल्लइ कागणि मोगलीय तह अक्कबोंदी य ||३२|| जे यावऽण्णे तहप्पगारा। से त्तं वल्लीओ । ४६. से किं तं पब्वगा ? पव्वगा अणेगविहा पन्नत्ता । तं जहा इक्खू य इक्खुवाडी वीरण तह एक्कडे भमासे य । सुंबे सरे य वेते तिमिरे सतपोरग णले य ||३३|| वसे वेलू कणए कंकावंसे य चाववंसे य । उदए कुडए कुडए विमए कंडावेलू य कल्लाणे ||३४|| जे यावऽण्णे तहप्पगारा। से त्तं पव्वगा । ४७. से किं तं तणा ? तणा अणेगविहा पण्णत्ता । तं जहा सडिय भत्तिय होत्तिय डब्भ कुसे पव्वए य पोडइला | अज्जुण असाढए रोहियंसा सुय वेय खीर तुसे ||३५|| एरंडे कुरुविंदे कक्खड सुंठे तहा विभंगू य । महुरतण लुणय सिप्पय बोधव्वे संकलितणा य ॥३६॥ पगारा। से त्तं तणा । ४८. से किं तं वलया ? अणेगविहा पण्णत्ता । तं जहा ताल तमाले तक्कलि तेयलि सारे य सारकल्लणे। सरले जावति केयइ कंदलि तह धम्मरुक्खे य ॥३७॥ भुयरुक्ख हिंगरुक्खे लवंगरुक्खे य होति बोधव्वे । पूयफली खज्जूरी बोधव्वा नालिएरी य ॥ ३८॥ जे यावऽण्णे तहप्पगारा। से तं वलया । ४९. से किं तं हरिया ? हरिया अणेगविहा पण्णत्ता । तं जहा अज्जोरुह वोडाणे हरितग तह तंदुलेज्जग तणे य । वत्थुल पारग मज्जार पाइ बिल्ली य पालक्का ||३९|| दगपिप्पली य दव्वी सोत्थियसाए तहेव मंडुक्की। मूलग सरिसव अंबिलसाए य जियंतए चेव ||४०|| तुलसी कण्ह उराले फणिज्जए अज्जए य भूयणए । चोरग दमणंग मरुयग सयपुप्फंदीवरे य तहा ||४१|| जे यावऽण्णे तहप्पगारा से तं हरिया । ५०. से किं तं ओसहीओ ? ओसहीओ अणेगविहाओ पण्णत्ताओ। तं YOYORK श्री आगमगुणमंजूषा - ९४२ 原瓶原

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