Book Title: Agam 15 Upang 04 Pragnapana Sutra Shwetambar Agam Guna Manjusha
Author(s): Gunsagarsuri
Publisher: Jina Goyam Guna Sarvoday Trust Mumbai

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Page 21
________________ SO90099999999999 (१५) पण्णवणा पय - १ [१०] 5555555555520 ECS明明明明明明明乐乐乐听听听听听听听听听听乐乐乐明明明明明明明明明明明明明明明明明明明明明明明明5 णंदियावत्ता संवुक्का माईवाहा सिप्पिसंपुडा चंदणा समुद्दलिक्खा, जे यावऽण्णे तहप्पगारा । सव्वेते समुच्छिमा नपुंसगा। २ ते समासतो दुविहा पन्नत्ता। तं जहा - पज्जत्तगा य अपज्जत्तगा य । एएसि णं एवमादियाणं बेइंदियाणं पज्जत्ताऽपज्जत्ताणं सत्त जाइकुलकोडिजोणीपमुहसतसहस्सा भवंतीति मक्खातं । से तं बेइंदियसंसारसमावण्णजीवपण्णवण्णा। सुत्तं ५७. तेइंदियजीवपण्णवणा] ५७.१ से किं तं तेदियसंसारसमावण्णजीवपण्णवणा ? तेदियसंसारसमावण्णजीवपण्णवणा अणेगविहा पन्नत्ता । तं जहा - ओवत्तया रोहिणीया कुंथू पिपीलिया उइंसगा उद्देहिया उक्कलिया उप्पाया उक्कडा उप्पडा तणाहारा कट्ठाहारा मालुया पत्ताहारा तणविटिया पत्तविटिया पुप्फविटिया फलविटिया बीयविटिया तेदुरणमज्जिया तउसमिजिया कप्पासट्ठिसमिजिया हिल्लिया झिल्लिया झिगिरा किंगिरिडा पाहुया सुभगा सोवच्छिया सुयविंटा इंदिकाइया इंदगोवया उरुलुंचगा कोत्थलवाहगा जूया हालाहला पिसुया सतवाझ्या गोम्ही हत्थिसोंडा, जे यावऽण्णे तहप्पगारा। सव्वेते सम्मुच्छिम-णपुंसगा। २ ते समासतो दुविहा पण्णत्ता । तं जहा - पज्जत्तगा य अपज्जलगाय। एएसिणं एवमाझ्याणं तेइंदियाणं पज्जत्ताऽपज्जत्ताणं अट्ठ जातिकुलकोडिजोणिप्पमुहुसतसहस्सा भवंतीति मक्खायं । से तं तेदियसंसारसमावण्णजीवपण्णवणा। [सुत्तं ५८. चउरिंदियजीवपण्णवणा] ५८. १ से किं तं चउरिदियसंसारसमावण्णजीवपण्णवणा ? चउरिदियसंसारसमावण्णजीवपण्णवणा अणेगविहा पण्णत्ता । तं जहाअंधिय णेत्तिय मच्छिय मगमिगकीडे तहा पयंगे य । ढिंकुण कुक्कुड कुक्कुह णंदावत्ते य सिंगिरिडे ॥११०॥ किण्हपत्ता नीलपत्ता लोहियपत्ता अलिबेपत्ता सुक्किलपत्ता चित्तपक्खा विचित्तपक्खा ओभंजलिया जलचारिया गंभीरा णीणिया तंतवा अच्छिरोडा अच्छिवेहा सारंगा णेउला दोला भमरा भरिली जरुला तोट्ठा विच्छुता पत्तविच्छया छाणविच्छुया जलविच्छुया पियंगाला कणगा गोमयकीडगा, जे यावऽण्णे तहप्पगारा। सव्वेते समुच्छिमा नपुंसगा। २ ते समासतो दुविहा पण्णत्ता । तं जहा-पज्जत्तगा य अपज्जत्तगा य । एतेसि णं एवमाझ्याणं चउरिदियाणं पज्जत्ताऽपज्जत्ताणं णव जातिकुलकोडिजोणिप्पमुहसयसहस्सा भवंतीति मक्खायं । सेतं चउरिदियसंसारसमावण्णजीवपण्णवणा। [सुत्ताई ५९-१४७. पंचिंदियजीवपण्णवणा] ५९. से किं तं पंचिंदियसंसारसमावण्णजीवपण्णवणा ? पंचिदियसंसारसमावण्णजीवपण्णवणा चउव्विहा पण्णत्ता । तं जहा - नेरइयपंचिंदियसंसारसमावण्णजीवपण्णव १ तिरिक्खजोणियपंचिदियसंसारसमावण्णजीवपण्णवणाणा २ मणुस्सपंचिंदियसंसारसमावण्णजीवपण्णवणा ३ देवपंचिंदियसंसारसमावण्णजीवपण्णव ४णा। [सुत्तं ६०.नेरइयजीवपण्णवण्णा] ६०.से किं तं नेरइया ? नेरइया सत्तविहा पण्णत्ता। तंजहा-रयणप्पभापुढविनेरइया १ सक्करप्पभापुढविनेरइया २ वालुयप्पभापुढविनेरइया ३ पंकप्पभापुढविनेरझ्या ४ धूमप्पभापुढविनेरझ्या ५ तमप्पभापुढविनेरइया ६ तमतमप्पभापुढविनेरइया ७। ते समासतो दुविहा पण्णत्ता । तं जहा-पज्जत्तगा य अपज्जत्तगा य । सेत्तं नेरइया। [सुत्ताई ६१-९१. तिरिक्खजोणियजीवपण्णवण्णा] ६१. से किं तं पंचिदियतिरिक्खजोणिया ? पंचिदियतिरिक्खजोणिया तिविहा पण्णत्ता । तं जहाजलयरपंचिदियतिरिक्खजोणिया १ थलयरपंचिदियतिरिक्खजोणिया २ खहयरपंचिदियतिरिक्खजोणिया ३ । ६२. से किं तं जलयरपंचिदियतिरिक्खजोणिया ? जलयरपंचिदियतिरिक्खजोणिया पंचविहा पण्णत्ता । तं जहा-मच्छा १ कच्छहा २ गाहा ३ मगरा ४ सुंसुमारा ५/६३. से किं तं मच्छा ? मच्छा अणेगविहा पण्णत्ता। तं जहा-सोहमच्छा खवल्लमच्छा जुगमच्छा विज्झिडियमच्छा हलिमच्छा मग्गरिमच्छा रोहियमच्छा हलीसागरा गागरा वडा वडगरा तिमी तिमिगिला णक्का संदलमच्छा कणिक्कामच्छा सालिसच्छियामच्छा लंमणमच्छा पडागा पडागातिपडागा, जे यावऽण्णे तहप्पगारा । सेत्तं मच्छा। ६४. से किं तं कच्छभा? कच्छभा दविहा पण्णत्ता । तं जहा- अट्ठिकच्छभा य मंसकच्छभा य । सेत्तं कच्छभा । ६५. से किं तं गाहा ? गाहा पंचविहा पण्णत्ता । तं जहा-दिली १ वेढला २ मुद्धया ३ पुलगा ४ सीमागारा ५ । सेत्तं गाहा । ६६. से किं तं मगरा ? मगरा दुविहा पण्णत्ता । तं जहा-सोहडमगरा य मट्ठमगरा य । सेत्तं मगरा। ६७. से किं तं सुंसुमारा ? सुंसुमारा एगागारा पण्णत्ता। सेत्तं सुंसुमारा। जे यावऽण्णे तहप्पगारा। ६८. १ ते समासतो दुविहा पण्णत्ता। तं जहा-सम्मुच्छिमा य गब्भवक्वंतिया य। २ तत्थ 听听听听听听听听听听听听乐乐乐乐乐乐乐乐乐乐乐乐频编明明明明明明明明明明明明明明明明明明明明明明最 HOMEducation international2010-03 A rthrimurarururupura FootapmanaLeonly श्री आगमगणमंजूषा - ९४५ 959 www.jainelibrary.ooo 5 95555O OR

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