Book Title: Ratnagyan Author(s): Yogiraj Mulchand Khatri Publisher: Shiv Ratna Kendra HaridwarPage 33
________________ महत्वपूर्ण मालाएँ स्फटिक की माला, मूंगे की माला दुगर की माला लाजवंती माला सच्चे मोती , पन्ने की , दानोफ्रंक ,, औलदिली , नीलम की , गोमेद , तन्त्र की , बिजौरानींबू ,, सुनहले की , गारनेट , कमलगट्टे , पुत्रजोवा , सीप की , रतबे की , नौरत्न की, उपरत्नों को,, औनेक्स की , मरगज , कैरवे की , तुलसी की , एमीथीज की ,, सर्प की , अम्बर को ,, वेल्जियम , उल्लू की हड्डो, हकीक , स्फटिक और रुद्राक्ष की लहसुनिया की,, गनमैंटल , रुद्राक्ष और मूंगे की हल्दी को , कुमकुम , रुद्राक्ष और गारनेट की । रतियों की , कन्नेर , रुद्राक्ष और हकीक की - हर प्रकार के छोटे-बड़े दानों की तथा किसी भी प्रकार की मालायें लेने पर हमारे यहाँ गारण्टी कार्ड दिया जाता है। नकली साबित होने पर १,५०,००० रु० नगद इनाम माल वी०पी०पी० द्वारा भी भेजा जाता है। सम्पूर्ण जानकारी के लिये सम्पर्क करें : योगीराज मूलचन्द खत्री शिव रत्न केन्द्र [रजि०] सन्तल सराय, ऊपरी मञ्जिल ___ गऊघाट हरिद्वार-२४६४०१ [२३]] - रत्न ज्ञान Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.orgPage Navigation
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