________________ 10 भावी जीवन. प्रतिज्ञाओं के शिथिल होने से मिसर धर्मी अपनी परलोक की दशा कैसी होगी उस पर विचार करने लगे / परन्तु प्राचीन ईरान में तो प्रतिज्ञा बनी रहने से उस धर्म के अनुयाई ऐसा ही मानने लगे कि इस लोक की तरह पर लोक में भी उसका भविष्य उसकी समाज के भविष्य के साथ ही मिला हुआ रहेगा / मिसर धर्मी जितना अधिक जादु उपयोग में लाया उतने ही विशेष अंश में अपने भावी जीवन के विचार करने का अवसर मिला / व्यक्ति पर अपना अधिकार संभाल रखने से सामाजिक धर्म को निष्फलता जो प्राप्त हुई उसका यह एक दृष्टान्त है और उसके परिणाम में अपने परलोक में जीवन सुधारने के साधन स्वयं संपादन कर सकेंगे ऐसा दृढ़ विश्वास एक व्यक्ति को अपने ऊपर रहता है / इस जीवन के अनुसार भावी जीवन का भी आधार शरीरके संरक्षण पर ही है ऐसी उसने कल्पना की। इस कल्पना के अनुसार ही मिसर में मुड़दों को मसाला भर कर यत्न से रक्षा की जाती थी और वह सुरक्षित रहे इस लिए मिनार बना कर उनमें रखा जाता था / इस प्रकार जिन मुड़दों की रक्षा पर भावी जीवन का आधार माना जाता था उन का इस क्रिया से विनाश नहीं हो ऐसी कोई निश्चयात्मक बात न कही जा सकती वैसे ही साधारण मनुष्य इस क्रिया से उनकी रक्षा करने की शक्ति न रखते और इस से मिसर के रहवासिओं को अन्त में जादु की सहायता लेनी पड़ी।