Book Title: Agam 18 Upang 07 Jambudveep Pragnapti Sutra Part 02 Sthanakvasi Gujarati Author(s): Ghasilal Maharaj Publisher: A B Shwetambar Sthanakwasi Jain Shastroddhar SamitiPage 11
________________ ८२ ८७ ८७ EE १०८ १११ उ. ૧૧૪ ૧૧પ ૧૧૫ २३ उतर गुरु नाभाठिा नि३पारा २४ हरिस्सह छूट ठा नि३पा २५ विभाग ठेभसे ज्यशाहिविषय हा नि३पारा थित्रछूट वक्षस्ठार छा नि३पाया २७ दूसरा सुष्यछविष्य ठा नि३पारा २८ दूसरा विशेह विभाग छा नि३पारा २८ सौभनस गहन्त पर्वत छा नि३पा थित्रवियित्राटिछूटों छा नि३पाया ३१ छूटशाभलीपीठ हा नि३पारा ३२ यौथा विधुत्प्रभ नाभछे वक्षस्टार हा नि३पारा 33 महाविटे वर्ष क्षिा पश्चिम में तीसरे विभाग अन्तर्वति विश्याहिता नि३पारा भे३पर्वत हा वायन उ५ नन्नवन ठा वार्यान उ६ सौभनसवन ठा वार्यान पाराऽवन छा वर्शन 3८ पाऽवन में स्थित अभिषेठ शिलाठा वार्यान 3८ भन्टरपर्वत ठेठांऽ (विभाग) संज्या छा थन ४० सभय प्रसिध्ध भंटरपर्व सोलह नाभा ज्थन ४१ नीलवन्नाभ डे वर्षधर पर्वत छा नि३पारा ४२ रभ्यठ नाभळे वर्ष-क्षेत्र छा नि३पाया पांयवा वक्षस्टार ४३ डिनन्भाभिषेछा वर्शन ४४ उज़लोड निवासिनी भहतरिठा टिशाहुभारीष्ठा अवसर प्राप्त र्तव्य ठा नि३पारा ૧૧૮ ૧૨૧ १२८ ૧૩૩ ३७ ૧૩પ ૧૩૭ ૧૪૧ ૧૪૩ ૧૪૬ ૧૪૯ ૧પ૬ ૧૬૩ જમ્બુદ્વીપપ્રજ્ઞપ્તિસૂત્રPage Navigation
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