Book Title: Shilangadi Rath Sangraha Author(s): Unknown Publisher: Unknown View full book textPage 4
________________ 1 ।। श्रीदशविक्षचक्रवाल समाचाररथ ॥२॥ मगुत्तोसन्नाली पसपियकीहोयइरियसमिया पुििवजिग्रेस्कंतो इहाकारीममोतस्स ॥ गुतिनामाइति सामियकोहाइसमियलगंजः। भोमारकंती चक्कसमायारिजुत्तोय॥२॥ इच्छामिच्छासहकाराआवरसहिनिक्सिहिम पडिपुच्छंछंदपाल निमन्त वसंघयातहतियां मणगुणावयासो निगुती ६.००३ ६७०. ६००० सकानी २००० साध्वी २००० चरणी 200 बादामनवररका । चरिदि मसामन्य वसामया विसामय माणम हायोय 100 ५०० L५०० ॥३:32 भासा एसएस निय समिय सनिध्य 100 विलियम तिमिरे कंतीसकती यसमिय सोहीय ५०य हणजनवारवण MRमिया समिय L.०० वाउजिये वणस्सल रकंती रखतो विविदि तीरकंती १० lefeld विदि २कसी १०/ररकंती१० समयकारक १०० ०० 0. बिइंदि इलाकासाकारी नही करनी सस्स नहन्तिकारी चादस्मितच निलिहियकार नमोलस राममोलस्स नमस्स पुका/पडिपुखकारा/दणकाशा नमानस्सः/नमोलस्स/नालस्सPage Navigation
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