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शीयालकोट (काठियावाड़) - वि० सं० १३०० वैशाख कृ० ११ बुद्धवार को श्री सहजिगपुरवासी पल्ली ० व्यवहारी देदा पत्नी कड़ देवी के पुत्र परी० महीपाल, महीचन्द्र के पुत्र रतनपाल, विजयपाल द्वारा व्य० शंकर पत्नी लक्ष्मी के पुत्र संघपति मूधिगदेव के स्वपरिवार सहित देवकुलिका युक्त श्री मल्लिनाथ बिम्ब कारितं एवं चन्द्रगच्छीय श्री हरिप्रभसूरिशिष्य श्री यशोभद्र सूरि द्वारा प्रतिष्ठित जैन मंदिर में विराजमान है । "
अहमदाबाद - वि० सं० १३२७ फा० शु० ८ की चौमुखा जिना लय में पल्ली ० कुमरसिंह भार्या कुमरदेवी के पुत्र सामन्त पत्नी श्रृंगारदेवी के श्रेधार्थ उनके पुत्र ठ० विक्रमसिंह, ठ० लूग, ठ० सांगा के द्वारा कारित एवं वडगच्छीय श्री चन्द्रसूरि शिष्य श्री माणिक्यसूरि द्वारा प्रतिष्ठित एक मोटी धातु पंचतीर्थी विराजमान है | 2
अणहिलपुर पत्तन - वि० सं० १३७१ आषाढ़ शु० ८ रविवार की पल्लीवाल ज्ञातीय श्रेष्ठि द्वारा प्रतिष्ठित श्री श्रादिनाथ धातु बिम्ब कनासना पाड़ा के बड़े मन्दिर में विराजमान है । 3
महेसाना - एक जैन मन्दिर में वि० सं० १३६७ माघ शु० १० शनिश्चर की पल्ली ० ठ० छाड़ा पत्नी नायकी के पुत्र के श्रेयार्थ कारित एवं श्री धर्मघोषगच्छीय श्री मानतुङ्ग सूरिशिष्य श्री हंसराजसूरि द्वारा प्रतिष्ठित एक श्री महावीर धातु प्रतिमा विराज मान है । ४
(१) जैसलमेर नाहर ले ०११७८. २-३ जै० धा.प्र.ले. १३७, ३२६ ।
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