Book Title: Natyadarpan Hindi
Author(s): Ramchandra Gunchandra, Dashrath Oza, Satyadev Chaudhary
Publisher: Hindi Madhyam Karyanvay Nideshalay Delhi

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Page 472
________________ का० १५२, सू० २२७ ] तृतीयो विवेक: दृष्टेः कान्ताभयानकादयः षट्त्रिंशत् । deareकयोः भ्रमण-वलनादयो बहवः क्रियाभेदाः समसाच्यादयो दर्शन प्रकाराश्च । अक्षिपुयोरुन्मेष-निमेषादयो बहवः । . भ्रुवोरुत्क्षेप - पतनादयः सप्त । नासिकाया नता मन्दादयः षट् । गण्डयोः ताम उनका उल्लेख नाट्यशास्त्र में इस प्रकार किया गया है- मुखजेऽभिनये विप्रा नानाभावरसाश्रये । शिरसः प्रथमं कर्म गदतो मे निबोधत ॥ ८- १७ ॥ कम्पितं कम्पितं च धुतं विधुतमेव च । परवाहितमा अवधूतं तथांचितम् ॥ १८ ॥ निचितं परावृत्तमुत्क्षिप्तं चाप्यधोगतम् । ललितं चेति विज्ञेयं त्रयोदशविधं शिरः ॥ १६ ॥ दृष्टिके कान्ता, भयानका श्रादि छत्तीस प्रकार होते हैं । भरतमुनिने दृष्टि के इन छत्तीस प्रकारोंके नाम निम्न प्रकार गिनाए हैंकान्ता भयानका हास्या करणा चाद्भुता तथा । रौद्रा वीरा च बीभत्सा विज्ञेया रसदृष्टयः ॥ ४१ ॥ स्निग्धा हृष्टा च दीना च क्रुद्धा दीप्ता भयान्विता । जुगुप्सिता विस्मिता च स्थायिभावेषु दृष्टयः ॥ शून्या च मलिना चैव श्रांता लज्जान्विता तथा । कुचिता चाभितप्ता च जिह्वा सललिता तथा ॥ वितर्कितार्धमुकुला विश्रांता विलुप्ता तथा ॥ केकरा विकोशा च त्रस्ता च मदिरा तथा । त्रिंशद् दृष्ट्या तास्तासु नाट्यं प्रतिष्ठितम् ॥ ४५ ॥ ४२ ॥ [ ३५५ Jain Education International ४३ ॥ ४४ ॥ नेत्र और तारकोंके भ्रमरण, वलन आदि बहुत से क्रियाभेद होते हैं । सम और वक्र [साची] आदि दर्शनके प्रकार हैं । इस सम आदि दर्शन प्रकारोंका वर्णन करते हुए भरतमुनिने लिखा हैप्रवक्ष्यामि प्रकारान् दर्शनस्य तु । था समं साच्यनुवृत्ते च ह्यालोकित - विलोकिते । प्रलोकितोल्लोकिते चाप्यवलोकितमेव च ।। १०६ ।। ८ ।। [अक्षि ] नेत्रपुटोंके उन्मेष, निमेष प्रादि बहुतसे भेद होते हैं । भरतमुनिने इन नेत्रपुटों के अभिनय भेदों का निरूपण निम्न प्रकार किया हैतारागतोऽस्यानुगतं पुटकर्म निबोधत । उन्मेषश्च निमेषश्च प्रसृतं कुञ्चितं समं । विवर्तितं सस्फुरितं पिहितं सविताडितम् ॥ भौंहों को उठाना - गिराना प्रावि सात [प्रभिनय प्रकार होते हैं] । नासिकाके नता, मन्दा आदि छः । ठोड़ीके कुट्टन, खण्डन भादि बहुतसे [ अभिनय प्रकार होते हैं] । गालोंके For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org

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