Book Title: Jain Vidhi Vidhan Sambandhi Sahitya ka Bruhad Itihas Part 1
Author(s): Saumyagunashreeji
Publisher: Prachya Vidyapith Shajapur
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576/मंत्र, तंत्र, विद्या सम्बन्धी साहित्य
श्लोक दिये गये हैं जो सूरिमन्त्र की साधना विधि से सम्बद्ध है।
निष्कर्षतः जिनप्रभसूरि रचित यह सूरिमन्त्रकल्प तत्सम्बन्धी अन्य कृतियों में अपना अग्रिम स्थान रखती हैं तथा इसमें सूरिमन्त्र की साधना विधि, जापविधि, जाप का फल, तपविधि, स्वआम्नाय मंत्र शुद्धि, सूरिमंत्र अधिष्ठायक मंत्र सिद्धि एवं मुद्राओं का सुस्पष्ट वर्णन किया गया है।
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