Book Title: Agam 15 Upang 04 Pragnapana Sutra Part 01 Author(s): Shyamacharya, Punyavijay, Dalsukh Malvania, Amrutlal Bhojak Publisher: Mahavir Jain VidyalayPage 46
________________ सूत्राङ्गः विषयः १४६४ - ६९. सप्तमादिदशमपर्यन्तानि बल-वासुदेव- माण्डलिकचक्रिरत्नद्वाराणि - चतुर्विंशतिदण्डकेभ्य उद्वृत्तानां बलदेवखादि - प्राप्तिविचारः असंयतभव्यदेव - अविराधितसंयम-विराधितसंयमादीनां देवलोकोपपातप्ररूपणम् १४७०. Jain Education International १४७१ - ७३. असंज्ञ्यायुः प्ररूपणम् १४७४-१५६६. एकविंशमवगाहनापदम् प्रज्ञापनासूत्रस्य विषयानुक्रमः १४७४. १४७५. एकविंशतितमपदस्य विधि-संस्थानादीनि सप्त द्वाराणि १४७५ - १५५२. प्रथम द्वितीय तृतीयानि विधि-संस्थान - प्रमाणद्वाराणि औदारिकादीनि पञ्च शरीराणि १४७६ - ८७. औदारिकशरीरे विधिद्वारम् - औदारिकशरीरस्य भेदाः प्रभेदाश्च हनाप्रमाणप्ररूपणम् १५३३ - ३५. भाहारकशरीरस्य भेद-संस्थान- अवगाहनाप्रमाणप्ररूपणम् १५३६ – ३९. तैजसशरीरे विधिद्वारम् - तैजसशरीरस्य भेदाः प्रभेदाश्च १५४० - ४४. तैजसशरीरे संस्थानद्वारम् - तैजसशरीरभेद-प्रभेदानां संस्थानानि १५४५-५१. तैजसशरीरे प्रमाणद्वारम् - जीव - चतुर्विंशतिदण्डकानां तैजसशरीरमहदवगाहनाप्रमाणप्ररूपणम् १५५२. कार्मणशरीरस्य भेद-संस्थान - अवगाहनाप्रमाणप्ररूपणम् १५५३ - ५८. चतुर्थ पुद्गलचयनद्वारम् - पञ्चानामपि शरीराणां दिशः प्रतीत्य पुद्गलचयनप्ररूपणम् १५५९ - ६४. पञ्चमं शरीरसंयोगद्वारम् - पञ्चानामपि शरीराणां समकालमन्यान्यशरीरसंयोगविचारः षष्ठं द्रव्य-प्रदेशाल्पबहुत्वद्वारम् - पञ्चानामपि शरीराणां द्रव्यार्थतादिनाऽल्पबहुत्वम् १५६५. १५६६. १४८८ - १५०१. औदारिकशरीरे संस्थानद्वारम् - औदारिकशरीरभेदप्रभेदानां संस्थानानि - १५०२ - १३. औदारिकशरीरे प्रमाणद्वारम् - औदारिकशरीरभेदप्रभेदाना मवगाहनाप्रमाणप्ररूपणम् ३३३ - ३५ १५१४ - २०. वैक्रियशरीरे विधिद्वारम् - वैक्रियशरीरस्य भेदाः प्रभेदाश्च ३३५-३८ १५२१ - २६. वैक्रियशरीरे संस्थानद्वारम् - वैक्रियशरीरभेद-प्रभेदानां संस्थानानि १५२७ - ३२. वैक्रियशरीरे प्रमाणद्वारम् - वैक्रियशरीरभेद-प्रभेदानामवगा सप्तमं शरीरावगाहनाल्पबहुत्वद्वारम् - पञ्चानामपि शरीराणां जघन्याद्यवगाहनाया अल्पबहुत्वम् ४५ For Private & Personal Use Only पृष्ठाङ्कः ३२७ ३२७-२८ ३२८ ३२९-४९ ३२९ ३२९ - ४६ १२९ ३२९-३१ ३३१-३३ ३३९-४० ३४० - ४१ ३४२-४३ ३४४ ३४४ - ४५ ३४५-४६ ३४६ ३४६-४७ ३४७-४८ ३४८ ३४८-४९ www.jainelibrary.orgPage Navigation
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