Book Title: Mohanlalji Arddhshatabdi Smarak Granth
Author(s): Mrugendramuni
Publisher: Mohanlalji Arddhashtabdi Smarak Granth Prakashan Samiti
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આદર્શ જીવનકા અપૂર્વ પ્રભાવ
आज का युग परोक्ष दृष्टान्तों से प्रत्यक्ष दृष्टान्त को विशेष मानता है इस लिये मैंने प्रत्यक्ष दृष्टान्त ही दिया है। जिस से किसी को सन्देह न रहे और अगर किसी को मूलभूत सन्देह हो तो मुझे लिखे ता कि मैं उन मेरे मित्र महोदय के साथ उन का संपर्क सधाकर हर प्रकार से समाधान करा सकता हूं। कहा है कि
अति लिखित त्रुटी भवत, गुरुवर के विचार । अपने में ही भावता, सार सार निज सार ।
धर्मानुरागी "ऋषभ"
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