Book Title: Vaidyavallabh
Author(s): Hastikruchi Kavi
Publisher: Hastikruchi Kavi
View full book text
________________ भाषाटीकासमेत। (7) भाषाटीका॥ चिरायवौ सैंधानोन सोंठ कूट चंदन लालनेत्रवाला ये बराबर भाग लै घोंट कपगमें छान लेप करने खों सब भांतिके ज्वरनको नाश होई // 21 // ___ अथ सर्वज्वरे गटिका // टंकणं मरिचं क्रष्णासपाकविषं समम // आदोदकेन दातव्या गुटी सर्वज्वरापहा // 22 // भाषाटीका।सुहागो, मिरच, पीपल, हिंगुलू वेलिया मीठो शुद्ध इनको बराबर भाग ले वाको मदरखके रसमें गोली बांध देवे सो सब बरहको ज्वर मिटै // 21 // अथ सर्वज्वरे चूर्णम् // दीप्याभयारामठवह्निविश्वाः क्षारद्वयं जीरकयुग्मकृष्णा / / / फलत्रयं संचलसैंधवं च कृतंहि चूर्ण ज्वरनाशकारि // 23 // भाषाटीका // अजवाइन, हरड, हींग, चित्रक, सोंठ, दोनों खार, जीरे दोऊ, पीपल, हरड, बहेडा, आंवला,कारा नोन, सैंधानोन, ये सब बरावर भाग ले ताको चूर्णकर फाँकवे सो सब भाँविके ज्वर नाश होई // 23 // अथ सर्वज्वर क्वाथः॥ छिनोद्भवानागरनिम्बवासातिक्ताभयापुष्कर गधन्वैः॥
Page Navigation
1 ... 9 10 11 12 13 14 15 16 17 18 19 20 21 22 23 24 25 26 27 28 29 30 31 32 33 34 35 36 37 38 39 40 41 42 43 44 45 46 47 48 49 50 51 52 53 54 55 56 57 58 59 60 61 62 63 64 65 66 67 68 69 70 71 72 73 74 75 76 77 78