Book Title: Swadeshi Chikitsa Aapka Swasthya Aapke Hath Author(s): Chanchalmal Choradiya Publisher: Swaraj Prakashan Samuh View full book textPage 6
________________ आमुख विश्व के सबसे बड़े तीन उद्योग हैं- पहला सैन्य अस्त्रशस्त्र निर्माण, दूसरा इलेक्ट्रोनिकल उपकरण और तीसरा दवा और सौन्दर्य प्रसाधन उत्पादन। मानव के अमूल्य श्रम और विपुल सम्पदा का अस्सी प्रतिशत भाग इन तीनों में .. अपव्यय हो जाता है। इनकी तुलना में शिक्षा, कृषि, पशुपालन से लेकर पर्यावरण .. तक अत्याधिक गौण हैं; जैसे भारत की सकल घरेलू आय का केवल तीन प्रतिशत शिक्षा पर खर्च किया जाता है। - सौन्दर्य प्रसाधनों के पदार्थ और प्रक्रियाएँ हर युग में परिवर्तित हो जाती हैं फिर भी मानव विद्रूप ही दृष्टिगोचर होता है। दवाइयों के निर्माण का सिलसिला . तो इतना घातक है कि प्रत्येक दशक में पूर्व प्रयुक्त दवाइयाँ विष घोषित कर दी. जाती हैं। इस समय भारत के ऐलोपैथिक डाक्टर जो दवाइयाँ लिखते हैं उनमें से दो सौ से अधिक दवाइयाँ प्राणघाती मान कर प्रतिबन्धित कर दी गई हैं। अब पाश्चात्य विकसित देशों में इन औषधियों के प्राकृतिक विकल्प खोजे जा रहे हैं। यहाँ .. तक कि सम्पूर्ण विश्व में स्वास्थ्य के पुनर्परिभाषित करने हेतु अनुसन्धानों में खरबों ... खरब रूपये खर्च किए जा रहे हैं जबकि दूसरी ओर बियाफ्रा, जंजीबार, इथोपिया, सोमालिया जैसे देशों में करीब पचास लाख लोग भूख से मर गए। विश्व खाद्य संगठन को आशंका है कि अब दक्षिण पूर्वी एशिया में भी भुखमरी का प्रकोप होगा।. . . . मानव इतिहास के ऐसे दयनीय क्रूर मोड़ पर स्वास्थ्य विज्ञान के बहुआयामी अनुभवी दार्शनिक श्री चंचलमल चोरडिया की यह पुस्तक समग्र मानव समुदाय के लिय आत्मबोध हेतु एक दिव्य प्रदीप है। . . - वर्तमान उपयोगितावादी भौतिक विज्ञान की यह विडम्बना है कि वह शाश्वत सत्य को विनाश के अन्तिम छोर पर स्वीकार करता है जैसे एड्स के भस्मासुर के जन्म लेने पर अब ब्रह्मचर्य या मर्यादित यौन का व्यापक प्रचार गम्भीर चेतावनी के रूप में किया जा रहा है। प्रकृति के सभी सूत्रों के घोर उल्लंघन पर जब पृथ्वी का तापमान बढ़ने लगा, वृक्ष, पशु, पक्षी विनष्ट होने लगे। आकाश की ओजोन पट्टिका में छिद्र हो गए। जल और वायु दोनों प्रदूषित होकर प्राणों के संकट बन गए. तब प्रकृति की ओर लौटने के नारे जोर-शोर से लगाए जा रहे हैं। ऐसे. समय श्री चोरडियाजी का यह ग्रन्थ हमें सकारात्मक मौलिक चिन्तन के लिए प्रेरित .Page Navigation
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