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उत्थापित चल प्रतिमाएँ व यंत्र धातु की :
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श्री श्रेयांसनाथ भगवान की 7" ऊँची पंचतीर्थी प्रतिमा है। इस पर वि. 1462 ज्येष्ठ वदि 4 का लेख है ।
निज मंदिर के बाहर :
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श्री पार्श्वनाथ भगवान की 5" ऊँची प्रतिमा है । इस सम्बन्ध में सं. 1651 माध सुदि 10 का लेख है ।
मेवाड़ के जैन तीर्थ भाग 2
श्री पार्श्वनाथ भगवान की 4" ऊंची है। इस पर सं. 1578 माह वदि 8 का लेख है ।
श्री सिद्धचक्र यंत्र गोलाकार 6" ऊंची है। इस सं. 2033 का लेख है ।
श्री सिद्धचक्र यंत्र गोलाकार 6" का है। इस सम्बन्ध में सं. 2045 का लेख है।
श्री सिद्धचक्र यंत्र गोलाकार 4" का ताम्बा का है। इस पर कोई लेख नहीं है ।
श्री अष्टमंगल यंत्र 6X3.5" का है । इस पर सं. 2045 का लेख है ।
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सभामण्डप में :
महालक्ष्मी यंत्र 2.5 " X3.5" का है ।
श्री जिनेश्वर भगवान की 12 ऊंची चतुर्विशंति प्रतिमा है। इस पर सं. 2045 वै. शु. 3 का है।
श्री बीस स्थानक यंत्र 10" का गोलाकार है । इस पर सं. 2049 वै. शु. 2 का लेख है ।
श्री मांतग यक्ष की श्वेत पाषाण की 7 " ऊंची प्रतिमा है ।
श्री शांता यक्षिणी की श्वेत पाषाण की 7" ऊँची प्रतिमा है।
श्री माणिभद्र की श्वेत पाषाण की 10 '6 ऊंची प्रतिमा है ।
श्री क्षेत्रपाल की 11 ” ऊंची प्रतिमा है।
श्री गौतम स्वामी की श्वेत पाषाण की 9" ऊंची प्रतिमा है, इस पर सं. 2002 (सन् 2005) का लेख है ।
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