Book Title: Krudantavali
Author(s): Ajitchandrasagar
Publisher: Agamoddharak Pratishthan

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Page 37
________________ વિધ્યર્થ કૃદન્ત अनीय १ सान्त्वयितव्य सान्त्वनीय भ तव्य २ चोरयितव्य चोरणीय 13 घोषयितव्य घोषणीय १४ तोलयितव्य तोलयितव्य तोलनीय भूषयितव्य भूषणीय ॥ ताडयितव्य ताडनीय 19 पारयितव्य पारणीय ८. पालयितव्य पालनीय भक्षयितव्य भक्षणीय EO कथयितव्य कथनीय य सान्त्व्य सान्त्वन चोर्य घोष्य घोषण भूष्य तोल्य तोलन अन (अनट्) पार्य पाल्य चोरण ताड्य ताडन भक्ष्य कथ्य भूषण पारण पालन भक्षण कथन ૨૫ Jain Education International 2860 Pirate & Personal Use Only www.jainelibrary.org

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