Book Title: Jainacharya Pratibodhit Gotra evam Jatiyan
Author(s): Agarchand Nahta, Bhanvarlal Nahta
Publisher: Jinharisagarsuri Gyan Bhandar

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Page 18
________________ ३५ भाटिया गोत्र खरतर ३६ सोनी गोत्र अडक खरतर ३७ पचकुदाल बहुरा गोत्र बद्ध खरतर ३८ नवकुदाल बहुरा गोत्र बद्ध खरतर ३९ मेतडा गोत्र खरतर ४० महतीयाण लघु शाखा ऊकेश खरतर ४१ खांटहड इसम री दिहाडी वाला खरतर ४२ माधवाणी गोत्र मदारिया मध्ये खरतर ४३ राखडिया बहरा गोत्र कटारिया खरतर । ४४ लूणिया गोत्रबद्ध खरतर जाति मधडा महेसरी । ४५ डागा खरतर मुंधडा जाति महेसरी . ४६ भाभू १ पारिख २ छोहरिया ३ गदहिया ४ सेलुत ५ भूरा ६ रीहड ७ खरतर राठी महेसरी ४७ खुथडा १ मालवीया २ डागलिया ३ चम्म ४ गोलबछा ५ बलाही ६ बापणा ७ दसम री दिहाडी ४८ जांगडा गौत्र गरतर । बुबकिया गोत्र खरतर ४९ मगदिया १ धाडीवाहा २ वेद ३ दोसी ४ दरडा गोत्र खरतर महेसरी ५० काठीफोडा खरतर ५१ पोरवाड पांचारणिया गोत्र खरतर ५२ अथ सखा गोत्र मांहे इतरा मिलै:-- .. बुच्चा १ चम्म २ ककड ३ गादहिया ४ गोलवछा ५ पारिख ६ भटाकीया ७ नाव टबुकिया ८ चोर ९ बेडिया १० सेल्होत ११ खुथडा इतरा १२ गोत्र..... अथ जगगुरु पूज्य खरतर गच्छ रा श्रावक चोपडा री वंशावली Jain Education International For Personal & Private Use Only www.jainelibrary.org

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