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आओ संस्कृत सीखें
149 राजा पूछते है। 10. जैसे चन्द्र बिना गगन शोभा नहीं देता, वैसे कमल बिना तालाब शोभा
नहीं देता है। 11. ब्राह्मण लड्डू खाते हैं। 12. आकाश में चन्द्र शोभा देता है ।
पाठ-20
हिन्दी का संस्कृत अनुवाद 1. वीरस्य भूषणं क्षमा धर्मस्य च भूषणं दया । 2. मम कन्ये क्रीडासु च कलासु च प्रवीणे स्तः । 3. सीता पुष्पाणां शोभना मालाः सृजति । 4. अत्र गङ्गया सह यमुना मिलति । 5. मालाभ्यामहं देवौ पूजयामि । 6. रामोऽयोध्याया नृपोऽस्ति । 7. सर्पस्य जिह्वे स्तः । 8. तस्यां पाठशालायां प्रभूताः कन्याः पठन्ति ।
___ संस्कृत का हिन्दी अनुवाद 1. तुम्हारी दो कन्याएँ अयोध्या का मार्ग पूछ रही है। 2. यमुना का पानी काला और गंगा का सफेद है । 3. पूज्य आचार्यों को वे बालिकाएँ नमस्कार कर रही हैं । 4. मथुरा में दो अच्छी पाठशालाएँ हैं । 5. उन दो पाठशालाओं में विद्यार्थी पढ़ते हैं । 6. जैसे लता से (बेल से) वृक्ष झुकता है, वैसे क्षमा से साधु शोभते हैं । 7. वे बालिकाएँ माला के लिए पुष्प लेकर जा रही हैं । 8. गंगा में सरला, मंजुला और सीता खेल रही हैं । 9. हे सीता ! तुम्हारी दो कन्याएँ देव को पूज रही हैं | 10. हे स्त्रियो! आप घर का रक्षण क्यों नहीं करती हैं ?