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श्रीराजशेखरसूरिकृत प्रबन्धकोश
भिन्न भिन्न पाठभेद और विशेषनामानुक्रम-समन्वित मूल ग्रन्थ; सरल हिन्दी भाषान्तर ऐतिहासिक-वस्तु-विवेचक अनेकानेक टिप्पनीद्वारा सुविवेचित;
तथा सुविस्तृत प्रस्तावना समलङ्कृत
सम्पादक
जिन विजय जैम वाङ्मयाध्यापक, विश्वभारती, शान्तिनिकेतन
प्रथम भाग विविधपाठान्तर-विशेषनामानुक्रमादियुक्त मूलग्रन्थ
प्रकाशन-कर्ता
अधिष्ठाता-सिंघी जैन ज्ञानपीठ
शान्तिनिकेतन
विक्रमाब्द १९९१ ]
प्रथमावृत्ति, एक सहस्र प्रतिः
[ १९३५ क्रिष्टाब्द
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