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उसने कहा कि मेरे प्रभु! हमारी अपनी कोई आकांक्षा नहीं। इन दोनों की आकांक्षाएं एक साथ पूरी हो जाएं, हमारी आकांक्षा पूरी हो जाती है।
यह बात हमें हंसने जैसी लगती है। यह बात हंसने जैसी नहीं है, यह बात रोने जैसी है। और इससे बड़ी बात रोने जैसी दूसरी नहीं हो सकती है। और अगर आप इस पर हंसते हैं, तो आप गलती करते हैं। मैंने बहुत सोचा कि मैं भी इस पर हंस पाऊं, मैं नहीं हंस पाया। मैंने इस कहानी को अपने से बहुत बार कहा है और मैंने चाहा कि मैं हंस लूं, लेकिन मैं नहीं हंस पाया और मेरा हृदय आंसुओं से भर गया है। और यह कहानी बिलकुल झूठ है, मैंने कहा; लेकिन यह कहानी झूठ नहीं है, यह कहानी बिलकुल सच है।
यह कहानी इसलिए सच है कि हमारी ये आकांक्षाएं आज हैं। आज हम चाहते हैं कि नष्ट हो जाएं, दूसरे मिटा दिए जाएं। हम यह समझ रहे हैं कि हमारे जीवन का रहस्य इस बात में है कि दूसरे को मृत्यु मिल जाए! हम नासमझ और पागल हैं। जीवन का रहस्य इसमें है कि दूसरों को और महान जीवन मिल जाए। अगर हम जीवन चाहते हैं खुद, तो जीवन हमें बांटना होगा। जो मौत को बांटेगा वह स्वयं मौत में गिर जाएगा।
यह जो कहानी मैंने कही, इसलिए मैंने कहा कि यह रोने जैसी है, यह आज दुनिया की हालत है। और यह दुनिया की हालत है, इससे यह मत समझना कि यह आपकी हालत नहीं है। आपका भी आनंद इसमें है कि आपका पड़ोसी मर जाए! आपकी भी खुशी इसी में है कि कोई समाप्त हो जाए! आप चौबीस घंटे इस प्रयत्न में लगे हैं, विचार से, मन से, वाणी से कि किसी को नष्ट कर दें।
___ अधार्मिक वह है जो दूसरे के नष्ट करने का विचार करता है। और धर्म की शुरुआत इस बात से होती है कि जो अपने निर्माण का विचार करता है। धर्म की शुरुआत इस बात से होती है कि जिसका ध्यान इस बात में है कि मैं जीवन को उपलब्ध हो जाऊं। अधर्म की शुरुआत इस बात से होती है, जिसे इस बात का ध्यान है कि दूसरा मृत्यु को उपलब्ध हो जाए; दूसरा मिट जाए, दूसरा गिर जाए। धर्म की शुरुआत इस बात में है कि मैं जीवन को उपलब्ध हो जाऊं। और धर्म की सिद्धि इस बात में है कि सब जीवन को उपलब्ध हो जाएं।
ऐसी जो स्थिति है, ऐसे जो विनाश का चिंतन है...।
ट्रमैन को, जब वह अमरीका के प्रेसिडेंट थे और जब उनकी आज्ञा से हिरोशिमा और नागासाकी पर पहला अणु बम गिराया गया, और वहां लाख लोग सोते-सोते समाप्त हो गए, दूसरे दिन सुबह ट्रूमैन जब उठे तो पत्रकारों ने उनसे पूछा कि रात आपको नींद आई? यह पूछने जैसा था। अगर मेरी आज्ञा से एक लाख लोग समाप्त हो जाएं, फिर अनंत काल तक इस जगत में मैं सो नहीं सकता हूं। और अगर मैं सो जाऊं, तो मुझे आदमी कहना मुश्किल है, मुझे पत्थर कहना होगा। पत्रकारों ने उनसे सुबह-सुबह पूछा, रात आपको नींद आई? ट्रूमैन ने कहा, बहुत वर्षों के बाद पहली दफा सोया! उन्होंने कहा, बहुत वर्षों के बाद पहली दफा सोया, मामला खतम हो गया! हम जीत गए!
__ एक लाख आदमी रात सोए हुए समाप्त हो गए हैं, इसकी पीड़ा जिन्हें न छूती हो, ऐसे मनुष्यों के समाज और युग को विक्षिप्त कहने की मुझे आज्ञा नहीं देंगे? ऐसे समय को पागल
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