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राजस्थान पुरातत्वान्येपण मन्दिर
। पना
क्रमांक प्रन्याङ्क
प्रन्यनाम
फर्ता
भाषा लिपि
विशेष
समय मागा
१६३
अविचल
जनगर में निम्मित।
६१३ ढुंढ रुपवाडो १६४ ११४४ ढोलामारवणी चोपाई
रागृ. १८७६ | रा १६वीं श, मेर:
१६५ २२०७- दोलमारूरी दूदाबंध १६६ / ३६७३ / त्रिभुवन कुमाररास
उलमसागर
१६७ ३८८५ त्रिभुवनकुमार रास
" १८८८ । गुनगमर मे लिन्ति । रामू १७६३ - २१ कृत भाजामाम में
लियन सं१७१२ में परमिन्दर में
रनिता जी श. २६ . नोमती नगर में
लिवितान. १७१२ 'मं पुरविन्दर में
रचिना , २०यींश: ३११- ; महिनापुर में संपन
! ३१६ १८४७ में रचना।
१६८ | ३५७५ थापच्चामुनिचोढालियो, क्षमाकल्याण
१६६ - २२२८ थावच्चामुत चोपाई
१७० | ३८८८ थावच्चासुत चोपाई
२१०१ दानलीला
दानलीला
।, १८वीं श.. १७ मं०१७.७ में बीपा
नर में रचित समयमुन्दर " , २५ . २०१६६१ में पं
(ब) भाइन में पा (पा) स्यारत में
रचित। " वीं ॥ १ ला नारायणदास नाहि. १७वीं श. ४१-25 वडोदरी समयसुन्दर |, रवीश ४ ०१६६२ में सांगा
नेर में रचना। श. ४ ०१६६२ नं सांगा
नर में रचना। म० १६६२ सांगानेर
मे रचना। " १२६ ३२-४०
गुटका । सं०१६६२ सागानयर में रचना।
| दानशील तप भारना
संवाददानशील तप भावना सवाद दानशील तप भावना संवाद दानशील तप भावना सवाद