Book Title: Hastlikhit Granth Suchi Part 01
Author(s): Jinvijay
Publisher: Rajasthan Puratattvanveshan Mandir
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क्रमांक प्रथाक
३६
४७२ | कुर्मापुत्रचरित्र पद्य ४= ४ कुर्मापुत्र चरित्र पद्य
३७
३८ २६९० | कुम्र्मापुत्रचरित्र ३१ | ३५७५ केशीगौतमप्रव्ययनार्थ
मन्थनाम
LE
(२)
बात
४४ | ३२३२ गोत्रिरात्र कथा
४५ ३१०८ | गोपाष्टमीकथा
४६ | ३१५५ गोरात्रिव्रतकथा ३५५५ | चतुराईरी बात
४७
(५)
४८ २३६० | चदकुंवररी बात
(७)
५०
(२)
६५० गुणावलीगुणकरंडरी
५२
(७७)
४०
६२२ | गणेशजी की कथा (पद्य) हुनास ४१ | २२६६ गांगातेलीरी वात
४२ | १९४३ | गुणएकादशीमाहात्म्य लांगामैडू
पद्य
४३
३५५५ चंदकु वररी बात
(२६)
३५६२ | चदकु वररी बात (१२)
५१३५७३ चदकुंवर की वारता पद्य
"
५३ १५३८ चन्द्रगुप्तकडुगडुगकथा
99
कथा-वार्तादि
कर्त्ता
जिनमाणिक्य प्राकृत १७वीं श
१५६६
१८वीं श
17
राजःगू० २०वीं श.
"
हंसकवि
(४४)
१२४३ | चन्दराय की बात (पद्य) विदमजी (१)
भाषा
"
व्रज
राज
"
93
लिपि -
पत्र
समय सख्या
""
"
१८८७
१६वीं श.
39
मू०सं० | १६१७
स्तगू
सस्कृत
99
ܕܝ
६०५
१८वीं श२से४
""
19
23
१६६३
99
राज० १६वीं श. १५-१६ गुटका ।
29
=
५
१६७ :
१०
३१६ से
३२६
१२
१८०८
१४
२
३=६८ गुटका. रचना सं० १८ (?) ६६ ।
२
गांथा बड्डू | गुटका ।
१५६ - १५६
| २३६
विशेष
२
भविष्योत्तर पुराण
गत ।
५५ से ६१ ) प्रतापसिह खुमाए विनोदार्थ रचित |
६८-८१ गुटका । सः १७४०
सिंह खुमारण की आज्ञा से जांधपुर म रचित ।
03- | चैनसिंहजी शासित १०२ घौसु ढी मे लिखित ।
व्रः हि० १६वीं श २० से ३५ गुटा । सं० १८२८
भुज मे रचना ।
प्राकृत १=त्रीं श
र० स० १७९० ।
गुटका स० १७४० में प्रसिद्द खुमाण की आज्ञा से जाधपुर मे रचित ।

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