Book Title: Hastlikhit Granth Suchi Part 01
Author(s): Jinvijay
Publisher: Rajasthan Puratattvanveshan Mandir

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Page 252
________________ २४० } क्रमांक प्रन्थाक मन्थनाम ६१ ३५४७ चौथमाता की कथा (१४) ६२ ३५६७ चौथमाताजीरी कथा ५४ २४८६ | चन्द्रधवलनृप कथा ५५ १६३८ | चित्रसेनपद्मावती कथा बुद्धिविजय २२) ६३ ३५६३ चौबीस एकादशी की (१) कथाऍ ६४ | ३५६८ | चौरासी वैष्णवों की वार्ताएँ जन्माष्टमीव्रतकथा १४१ = जन्माष्टमीव्रतकथा ६५. १४०० ६६ ५६ | १६३२ | चित्र सेनपद्मावती कथा राजवल्लभ ५७ ३४१२ चित्रसेन पद्मावती कथा ३१५८ | चौथ की कथा ५६ २१३४ चौथमातारी बात पद्य ६० ३२७७ चौथमातारी कथा ६७ २४७० | जंयूस्वामिकथानक ६८ ३३७६ | जस्यामि चरित्र गद्य ७० ६६ ३४७१ जयूस्वामि चरित्र गद्य ३५७३ | जलाल गहांगीरी वार्ता (५५) ७१ ३५४६ जल्लाल गहांगीरी वात (=) ७२ | ३२०१ ज्ञानाधर्मकथा गोपनय بی राजस्थान पुरातत्वान्वेपण मन्दिर लिपि - समय कथा ७३३५६२ टोकरीरी वातरो चुट(४) | कलो १८८१ । दोलाजी की बात (२) कर्त्ता माणिक्य सुन्दर सं० 33 भाषा 59 "3 35 " १७७६ | राजस्थानी १ = ३३ " १६वीं श " "" 33 " "" "" ུལ सं १७८६ न हि १६वीं श. 11 " 39 १८७२ १७३३ प्रा. सं. १६वीं श राज० १६वीं श. राज० १७वीं श. "" 36 " 33 " १८४३ 36 पत्र संख्या " १३ पत्तन में लिखित । १८ | देधारणा ग्राम मे लिखित | रचना सं. १६६० । १५ सम्वत् १५२४ मे रचित । m2 302 30 १३ ४ विशेष २ ४ | वाघसरणनगर में लिखित | ६२-६३ १३८ १४१ १-६० २१४ गुटका, पाटण मे लिखित | ११ १२ १८वीं श १६ चाकसू मे लिखित । १=१२ | १३६- |ऊंवरी मे लिखित | १५१ जीर्णप्रति । | १६वीं श . ६० - ६७ १० नारद पुराण गत । १६ | प्रथम पत्र प्राप्त । नारदपुराणगत | ४ १९५६ १८-२० १६वीं श २५-६६ अपूर्ण ।

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