Book Title: Sramana 1990 07
Author(s): Sagarmal Jain
Publisher: Parshvanath Vidhyashram Varanasi

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Page 54
________________ ( ५४ ) प्रतिमा-लेख १-वि० सं० १०८८ फाल्गुन वदि ४ जिन प्रतिमा का लेख २-वि० सं० १२३४ वैशाख सुदि १४ ३-वि० सं० १२३४ वैशाख सुदि १४ मंगलवार ४- वि० सं० १४३८ आषाढ़ सुदि ९ पार्श्वनाथ की शुक्रवार प्रतिमा का लेख ५-वि० सं० १४९२ वैशाख वदि ५ संभवनाथ की प्रतिमा का लेख ६--वि० सं० १५१२ फाल्गुन सुदि ८ कुन्युनाथ की शनिवार प्रतिमा का लेख ७ वि० सं० १५३४ माघ सूदि ५ धर्मनाथ की प्रतिमा का लेख ८-वि० सं० १५४९ माघ सुदि ५ विमलनाथ की गुरुवार प्रतिमा का लेख ९- वि० सं० १६१२ वैशाख सुदि ५ जिन प्रतिमा पर उत्कीर्ण लेख १०-वि० सं० १६८३ ज्येष्ठ सुदि ३ सम्भवनाथ की प्रतिमा का लेख ११-वि० सं० १७५८ आषाढ़ सुदि १३ जिन प्रतिमा पर उत्कीर्ण लेख यहीं स्थित पीपलादेवी का विशाल सभामंडप युक्त मदिर १०वीं शती के अन्तिम चरण में निर्मित हआ है। इसी प्रकार यहां स्थित सचिया माता का मंदिर ई० सन् ८वीं शती का है, परन्तु इसके अधिकांश भाग १२वीं शती में निर्मित हैं । १. जैन, कैलाशचन्द्र-पूर्वोक्त, १८३ 2. Dhaky, M. A,—“The Iconography of Sacciya Devi” Babu Chote Lal Jain Commemoration Volume ( Calcutta 1967 A. D. ) p.-63-69. Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org

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