Book Title: Divya Jivan Vijay Vallabhsuriji
Author(s): Jawaharchandra Patni
Publisher: Vijay Vallabhsuriji Janmashatabdi Samiti

View full book text
Previous | Next

Page 14
________________ म परमपूज्य आचार्य श्री विजयसमुद्रसूरिजीका अत्यन्त आभारी हूं, जिन्होंने इस पुस्तककी प्रस्तावना लिखकर इस जीवन-ग्रन्थकी शोभा द्विगुणित कर दी है। आचार्यश्रीकी प्रेरणा, मार्गदर्शन एवं प्रोत्साहनसे मैं इस जीवनग्रन्थको लिख सका हूं। 'युगवीर आचार्य 'के रचयिता श्री फूलचन्दजी दोशी - 'महुवाकर 'को धन्यवादके फूल अर्पित करता हूं, जिन्होंने स्नेहपूर्ण मार्गदर्शन एवं अपने सरस साहित्यसे मुझे प्रोत्साहित किया। म ‘आचार्य श्री विजयवल्लभसूरीश्वरजी जन्मशताब्दी समिति का भी आभारी हूं, जिन्होंने मुझे पुण्यश्लोक गुरुदेवकी 'जीवन-कथा' आलेखित करनेका पुनीत कार्य सौंपा। जय वल्लभ ! फालना (राजस्थान) -- लेखक दिनांक १ जून, १९७० Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org

Loading...

Page Navigation
1 ... 12 13 14 15 16 17 18 19 20 21 22 23 24 25 26 27 28 29 30 31 32 33 34 35 36 37 38 39 40 41 42 43 44 45 46 47 48 49 50 51 52 53 54 55 56 57 58 59 60 61 62 63 64 65 66 67 68 69 70 71 72 73 74 75 76 77 78 79 80 81 82 83 84 85 86 87 88 89 90