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पत्राक
विषय और प्रश्नादि
द्वैमानिक भेद मनुष्य अन्तक्रियाकर एव अ सुरकुमार याद्वैमानिक एव२४ दढक, नारकी अन्तक्रिया करे परम्परागत अन्तक्रिया करे ५७५
अनन्तरागत
तेज वायु द्वीन्द्रिय प्रीन्द्रिय चतुरिन्द्रिय अन्त क्रिया प्रश्न अनन्तरागत नारकी एकसमय मै जघन्य एक दो तीन उत्कृष्ट दश अन्त किया करै प्रभा पृथिवी का नारकी तथा अन्तरा गत प्रभादि पृथिवी का नारकी अन्तक्रिया
एव प्रसरकुमार कुमारी प्रश्न ५७५ अनन्तरागत पृथिकायिक जघन्य एक दो तीन उत्कृष्ट चार एव प्रकायिक भी वनस्पति का यिक छ पचेद्रिय तीयश्च दश तीयठवणी दश
पत्राक
विषय और प्रश्नादि
मनुष्य दश मनुष्याणी यीश धानव्यतर दश व्यतरी पाच जातिपी घीस इत्यादि ५७६ नारी नरक से निकल नरक में उपजै नही ना रकी नरक से निकल असुरकुमार मे उपजे नही यात्रींद्रिय ५७६ नारकी नरक से निकल पञ्चेद्रिय तिर्यठच में उपजे इत्यादि ५७७ नारकी नरक से निकल व्यतर जोतिपी वैमानि क मैं उपजै नही असुरकुमार असुरकुमार से निकल नारकी में उपजे नही असुरकुमार मर के असुरकुमार में उपजै नहीं एव यावत्
स्तनितकुमार ५७९ असुरकुमार मरके पृथिवीकाय में उपजै कदाचित्।