Book Title: Sanskrit Sopanam Part 04 Author(s): Surendra Gambhir Publisher: Pitambar Publishing Company View full book textPage 6
________________ Teaching Point : आत्मनेपदम्-लट् लाकामी विकाजोल प्रथमः नाकावन्दना पाठः पृथिवी मानुष्यम् वन्द मलयजः शस्यम् श्यामल ज्योत्सना यामिनी द्रुमः सुखद वरद , -(अथर्ववेदः) -(अज्ञातम्) माता भूमिः पुत्रोऽहं पृथिव्याः दुर्लभं भारते जन्म मानुष्यं तत्र दुर्लभम् वन्दे मातरम्! सुजला सुफलां मलयज-शीतलाम, शस्य-श्यामलां मातरम्! वन्दे मातरम्! शुभ्र-ज्योत्सना-पुलकित-यामिनीम्, फुल्ल-कुसुमित-द्रुमदल-शोभिनीम्, सुहासिनीम्, सुमधुर-भाषिणीम्, सुखदां वरदां मातरम्! वन्दे मातरम्! -श्री बंकिमचन्द्र-चट्टोपाध्यायः।Page Navigation
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