Book Title: Agam Padyanam Akaradikramen Anukramanika 01
Author(s): Vinayrakshitvijay
Publisher: Shastra Sandesh Mala
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निक्खेवो खलुकंम्मि
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निरत्थया नग्गरुई उ निक्खेवो खलुकंम्मि (उ.नि.) ४८९ निच्छयओ सच्चित्तो (ओघ.) ३३९ निद्भूमगं च गामं महिला- (आ.नि.)७२७ निक्खेवो गाहाए चउ- (सू.नि.) २३ निच्छयओ सव्वगुरुं (विशे.) ६६० निद्धेयरो य कालो (पि.नि.) ४२ निक्खेवो गोअमम्मी चउ- (उ.नि.) ४५० निच्छयनयस्स चरणायवि (पि.नि.) १०५ नि (प० वु) च्छिन्नसव्व- (दे.प.) ३०१ निक्खेवो चरणम्मि(म्मी) (उ.नि.) ५१६ निच्छयमवलंवंता निच्छयओ (ओघ.) ७६२ निप्फाईया य सीसा (आचा.) २६९ निक्खेवो जन्नम्मि अ (उ.नि.) ४६२ निच्छयववहारनओ (विशे.) २३८१ निफेडियाणि दुण्णिवि (म.प.) ४२५ निक्खेवो जीवम्मि अ (उ.नि.) ५५१ निच्छिअमरणावत्थो वाहि- (भ.प.) १४ निब्भत्थणावमाणणवह- (म.प.) ५९३ निक्खेवो नियंठम्मि (उ.नि.) ४२२ निच्छिण्णसव्वदुक्खा जाइ- (प्रज्ञा.) २३१ निभएऽगारित्थीणं तु (ओघ.) ३५ निक्खेवो नियंठम्मि चउ- (उ.नि.) २३७ निच्छित्रसव्वदुक्खा (आ.नि.)९८८ निमितेसु पसत्थेसु, दढेसु (गणि.) ७५ निक्खेवो पयडीए (उ.नि.) ५३२ निच्छोडिए करीसेण वावि (पि.नि.) २७६ निमित्ते अत्थसत्थे (आ.नि.)९४४ निक्खेवो भिक्खुम्मी (उ.नि.) ३७४ निजंतं मुत्तूणं परवयणे (आ.नि.)१३६० निमित्ते अत्थसत्थे अ, (नन्दी) ६७ निक्खेवो मग्गम्मि(वि)- (उ.नि.) ५०० निजरियजरामरणं (त.प.) १ निमित्ते कित्तिमे नत्थि, (गणि.) ७४ निक्खेवो मुक्खम्मि(य)- (उ.नि.) ४९८ निज्जवगस्स सगासं असई (ओघ.) भा.२८ निमित्तेसुऽपसत्थेसु, (गणि.) ७७ निक्खेवो य चउक्को (दश.) २६९ निज्जवण भद्दगुत्ते वीसुं (आ.नि.)७७६ निम्मच्छिअं महुं पायडो (विशे.) २०६५ निक्खेवो संजइज्जम्मि (उ.नि.) ३९२ निज्जामगरयणाणं अमूढ- (आ.नि.)९१४ निम्मच्छियं महुं पायडो (आ.नि.)७२८ निक्खेवो सामम्मि (य) (उ.नि.) ४८२ निज्जायकारणम्मी मय- (आ.नि.)१५७५ निम्ममनिरहंकारा (सं.प.) ६० निक्खेव्वो असुअम्मि (उ.नि.) ५०८ निज्जुत्ता ते अत्था जं (विशे.) १०८५ निम्ममनिरहंकारो (म.प.) ३४२ निखिला फासेयव्वा सरीर- (म.प.) १८८ निज्जुत्तित्ति विगप्पा (विशे.) ९७२ निम्ममनिरहंकारो (म.प.) ४७६ निगमणसुद्धी तित्थंतरिया (दश.) १३३ निज्जुत्तिसमुत्थाण (विशे.) ११८५ निम्ममो निरहंकारो, (उत्त.) ६७१ निग्गंथधम्ममि इमं समाहिं, (सूत्र.) ७१० निज्जुत्तिसमुत्थाण (विशे.) १३४७ निम्ममो निरहंकारो, (उत्त.) १३५५ निग्गंथ सक्क तावस गेरुयं (पि.नि.) ४४५ निज्जूहिऊण आहारं, (उत्त.) १३५४ निम्मलदगरयवण्णा (आ.नि.)९६१ निग्गंथे पावयणे, सावए (उत्त.) ७४२ निट्ठवियट्ठमयट्ठाणे, (ग.प.) ४२ निम्मलदगरयवण्णा तुसार- (दे.प.) २७४ निग्गंथो धिइमंतो निग्गंथीवि (उत्त.) १००६ निट्ठाणं रसनिज्जूढं, (द.वै.) ३५६ निम्मल्लगंधगुलियावण्णय- (पि.नि.) ३०८ निग्गम देउल दाणं दियाइ (पि.नि.) ३३८ निण्णयकालेऽवि जओ (विशे.) ३२३ नियआलयाओ गमणं (आ.नि.)प्र. १६ निग्गहियकसाएहिं आसवा (म.प.) ६२० निदं च न बहु मन्निज्जा, (द.वै.) ३७६ नियओ व निच्छिओ- (विशे.) १४१९ निच्चं तिदंडविरया (म.प.) २६ निद्दलिअकलुसकम्मो कय- (च.प.) ४४ नियठिइकालं जह (विशे.) ३१०१ निच्वंपि तस्स भावुज्जुअस्स (सं.प.) ५४ निद्दाइभावओऽविय (विशे.) २७१९ नियदव्वमपुव्वजिणिंदभवण- (भ.प.) ३१ निच्चं भीएण तत्थेणं, (उत्त.) ६५३ निद्दा तहेव पयला निद्दानिद्दा (उत्त.) १२४३ नियमा उ दिट्ठगाही (ओघ.) भा.२५१ निच्चं होति धुवाओ (विशे.) ६३९ निद्दामत्तो न सरइ अइआरं (आ.नि.)१५२५ नियमा चित्तं झाणं (आ.नि.)१४८८ निच्चकालऽप्पमत्तेणं, (उत्त.) ६०८ निद्दिट्ठस्स पसूई (विशे.) १५३१ नियमा जिणेसु उ गुणा (आ.नि.)११३६ निच्चकिरियाइदोसा . (विशे.) ४१९ निद्दिट्ठस्सवि कस्सचि (विशे.) १५१८ नियमा तिकालविसएऽवि (पि.नि.) ४३५ निच्चकिरियाइदोसा (विशे.) २३१४ निद्देसपसंसाए अत्थीभावे (दश.) ३३० नियमा मणुयगईए (विशे.) २१२४. निच्चकिरियापसंगो (विशे.) ३३६५ निद्देसमेत्तमुत्तं
(विशे.) ९८४ नियमा मणुयगईए इत्थी (आ.नि.)१८४ निच्चत्तसाहणाणि य (विशे.) २८२४ निद्देसवित्ती पुण जे (द.वै.) ४३८ नियमा मणुयगईए इत्थी (आ.नि.)४५६ निच्चत्थाणाआ वा (विशे.) १८५८ निद्देसे पढमा होइ, बितिया (अनु.) ५७ । नियमूसियकणयसिलाय- (नन्दी) १३ निच्चलं कयमारोग्गं ठाणं (इसि.) २४।४२ निद्देसे पढमा होती, बीतीया (स्था.) ८७ नियमेण डज्झमाणं (विशे.) २३३१ निच्चल निप्पडिकम्मो (म.प.) ५२६ निदोसं सारमंतं च, हेउ- (अनु.) ५१ निययगुणं वा निगुणं (विशे.) ११२५ निच्चुब्विग्गो जहा तेणो, (द.वै.) १९८ निद्दोसं सारवंतं च (स्था.) ७० निययत्थो परिणामो (विशे.) ३२८१ निच्चोदिन्नपि जहा (विशे.) १२९८ निद्दोसं सारवन्तं च (आ.नि.)८८५ निययमहिओ व काओ (आ.नि.)१४३६ निच्चो संताणो सिं (विशे.) १६८१ निद्दोसमणसमाहाणसंभवो (अनु.) ८० निययाणुगामियाणं (विशे.) ७४४ निच्छइओ नाजायं (विशे.) ४१८ निद्धंधसपरिणामो, निस्संसो (उत्त.) १२८५ निययावगाहणागणि (विशे.) ६०३ निच्छत्रसव्वदुक्खा जाइ- (प्रज्ञा.) १७९ निद्धं महुरं पल्हायणिज्जहि- (भ.प.) १५७ निययावहिणोऽभितर० (विशे.) ७६९ निच्छयओ दुन्नेयं-को (आ.नि.)७१६ निद्धन्नयं व खलयं पुप्फेहिं- (त.प.) १२८ निझुगं मि विरओ, (उत्त.) ९० निच्छयओ पुण बाहिर० (विशे.) १७१८ निद्धमहुराणि पुव्वं (ओघ.) भा.२८४ निरणुग्गहत्तणाओ (विशे.) १८५४ निच्छयओ सच्चित्तो (पि.नि.) ११ निद्भूमगं च गामं महिला- (विशे.) २०६४ निरत्थया नग्गरुई उ (उत्त.) ७२९
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