Book Title: Padmavati Purval Digambar Jain Jati ka Udbhav aur Vikas
Author(s): Ramjit Jain
Publisher: Pragatishil Padmavati Purval Digambar Jain Sangathan Panjikrut

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Page 416
________________ भगवान महावीर के चित्र के मैडल देकर आपने उन्हें प्रोत्साहित किया है। आवश्यक होने पर यथासंभव उनको छात्रवृत्ति आदि भी प्रदान कराई है। ____12. भगवान महावीर विकलांग सेवा समिति, जयपुर के दक्ष एवं विशेषज्ञ डॉ. की देखरेख में अनेक तीर्थक्षेत्रों पर वहां रहने वाले हजारों विकलांगों को कृत्रिम पैर, केलीपर्स, ट्रायसाइकिल एवं बैसाखी आदि प्रदान की हैं, साथ ही पाठ्य-पुस्तकें भी प्रदान कराते आ रहे हैं। __13. तरुण-मित्र परिषद, जैन युवा संगठन (कूचा पातीराम), जैन जागरण समिति, (दिल्ली गेट), भक्ताम्मर पाठ समिति (वासुपूज्य मंदिर), गांधी नगर, आदि अनेक संस्थानों का गठन कराके उन्हें स्वतंत्र रूप से कार्य करने की प्रेरणाएं प्रदान की हैं। 14. ब्र. बहन कमलाबाई जी, द्वारा श्री महावीरजी में स्थापित कन्या-विद्यालय के अनेक समारोहों, विशेषकर उसके स्वर्ण-जयन्ती वर्ष में स्थापित किये गये महाविद्यालय के शिलान्यास-समारोह को सफल बनाने और उसके संचालन में इनका काफी योगदान रहा है। 1984 में पूज्य कमलाबाई जी के सार्वजनिक सम्मान में भारतवर्षीय जैन समाज द्वारा आयोजित समारोह के आप कार्यक्रम के संयोजक थे। ___15. नेपाल जैन परिषद, काठमाडों में निर्मित श्री दिगम्बर जैन मंदिर का वेदी-प्रतिष्ठा-महोत्सव और उसके दो वर्ष बाद आयोजित वार्षिक समारोह की सफलता और उसके धन-संग्रह में भी आपका उल्लेखनीय योगदान रहा है। __16. अक्तूबर 1991 में आचार्य श्री विद्यासागर जी महाराज के पावन सानिध्य में कुंडलपुर में दिगम्बर जैन नैतिक-शिक्षा-समिति के शिविर के सफल आयोजन में आपका अतुलनीय योगदान रहा है। 1985 से आप इस संस्था के अब तक संयुक्त-महामंत्री हैं। लाखों बच्चों को अब तक धार्मिक नैतिक शिक्षा इस संस्था के माध्यम से दिलाने में इन्होंने क्रियात्मक पथावतीपुरवाल दिगम्बर जैन जाति का उद्भव और विकास 380

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