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निरक्त कोश
३४१ ६५. कसि (कृषि) ___ कर्षणं कृषिः।
(प्रटी प १२) कर्षण करना/खेत को जोतना कृषि है। ६६. कहा (कथा) कथनं कथा।
(ओटी प ६) ___ जो कही जाती है, वह कथा है । ६७. काम (काम) कमनं कामः।
(सूटी २ प १४५) जो अभिलषणीय है, वह काम/इच्छा है । ६८. कार (कार) करणं कारः।
(आटी प १०१) जो किया जाता है, वह कारकार्य है। ६६. काल (काल) कलनं कालः।
(प्रसाटी प २८६) ___ जो कलना/गणना करता है, वह काल है। ७०. किरिया (क्रिया) करणं क्रिया।
(स्थाटी प ३७) करना क्रिया है। ७१. केत (केत) केतनं केतः।
(स्थाटी प ४७७) जो चिह्नित करता है, वह केत/चिह्न है। ७२. कोह (क्रोध) क्रोधनं क्रोधः।
(ओटी प ५) __क्रुद्ध होना क्रोध है। ७३. खंति (क्षान्ति) खवणं खंती।
(दअचू पृ २३४) क्रोध आदि का क्षय क्षांति है।
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