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स्नायु की बीमारियाँ (Myopathies)
अभी तक हमने मस्तिष्क और चेतातंत्र की अधिकतर बीमारियों के विषय में जाना। अब हम मुख्यतः स्नायु की बीमारियों के संदर्भ में कुछ जानेंगे। हम जानते है कि हमारे शरीर के प्रत्येक अवयव या प्रत्येक भाग का संचालन मस्तिष्क से होता है । इस तंत्र में मस्तिष्क, छोटा मस्तिष्क, करोड़रज्जु, उसमें से निकलने वाली चेताएँ, चेता और स्नायु के बीच की कड़ी अर्थात् न्यूरोमस्क्युलर जंक्शन और स्नायुओं का समावेश होता है । न्यूरोमस्क्युलर जंकशन की बीमारी मायस्थेनिया ग्रेविस संदर्भ में हमने आगे विस्तार से वर्णन किया है ।
स्नायुओं की बीमारियों का वर्गीकरण :
मुख्यतः इस रूप से किया जा सकता है । (A) मस्क्युलर डिस्ट्रोफी :
(B)
(C)
स्नायुओं के कोषों की वंशानुगत बीमारी जैसे कि डशेन मस्क्युलर डिस्ट्रोफी
चेनलोपथी :
जैसे कि हायपोकेलेमिक या हायपरकेलेमिक पीरियोडिक पेरेलिसिस
मेटाबोलिक मायोपथी :
शर्करा, चरबी वगैरह के चयापचय में खामी के कारण होनेवाली स्नायुओं की कमजोरी
(D) माईटोकोन्ड्रियल मायोपथी :
शरीर के प्रत्येकं कोष के उर्जास्त्रोत - माईटोकोन्ड्रिआ में खामी होने से होनेवाली स्नायुओं की कमजोरी जैसे कि कर्न सयारे सिन्ड्रोम
(E) कोन्जनीईटल मायोपथी :
जैसे कि सेन्ट्रल कोर डिसीझ
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