Book Title: Sarv Tirtho Ki Vyavastha Author(s): Shitalprasad Chhajed Publisher: Shitalprasad Chhajed View full book textPage 3
________________ सर्वतीर्थों को व्यवस्था ॥ १ कलकत्तेशहरमें १६ वें भगवानजीका मन्दिर बड़ाबाजार अफौमके चौरस्ते पर है ६ घरदेरासरजौ है धर्मशान्ता बांसतल्ला नम्बर ५८ में हैं वहां से कोस १ माणिकतल्ला ट्रोट होलसौबगानमें श्रीदादेजी के बगीचे में मन्दिर धर्मशाला है उसके पास २४ में भगवानजीका मन्दिर है। उसके पास १० में भगवानजौका मन्दिर है। उसके बगल में नया मन्दिरजी बनता है वहां से पीछे भान कर गङ्गापार जाने को पुल बना है गाड़ी वगैरह जाती है हबड़ेमें रेलका टेशन है। १-१ हबड़ा जंक्शन टेशन मौल १ सहरसे है वहांसे रेल पर सवार होना उतरना होता है। दो लैन रेलको है। कार्डलैन, लपलैन से बैठकर नलहटौ जाना। मौल १४५ मामूल १)। २ वईमान जंक्शनसे दो लैन भईहै सहर कोस १ है सवारी मिले हैं ३ नलहटी जंक्शन टेशन उतरके दूसरौ रेलमें बैठकर यहां से अजीमगंज मकसुदाबाद जाना। मौ० २८ मा० ॥ ४ अजीमगंज टेशन उतरना सहर पास है। ध० बजारमें है वहां मं। भ. के बहोत है वा रामबागमें है वहांसे गङ्गापार नावमें जाना १-४ बालुचर सहर है वहां ध० । मं० । भ० के कई है वहां से खुसको रस्ते को १ कौरतबाग है सवारी सब जाय है मंभ के Shree Sudharmaswami Gyanbhandar-Umara, Surat www.umaragyanbhandar.comPage Navigation
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