________________
Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra
www.kobatirth.org
Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir
८४
सं० प्रा० प्राचीन जैन स्मारक ।
(४) पूरनपर-पीलीभीत से २४ मील। इसके निकट बहुत से प्राचीन खंडहर हैं जैसे धनाराघाट, शाहगढ़ । सुआपारा का कोट ४०० फुट वर्ग का टीला है। बहुत सी ईंटें पाई जाती हैं। ये सब किले के भीतर के मंदिर की हैं । जांच होनी चाहिये।
(५) शाहगढ़-तहसील पूरनपुर । पूरनपुर से ७ मील व पीलीभीत से १५ मील । उत्तर पश्चिम एक स्तम्भ है । यहां एक बहुत प्राचीन किला था जिसका होना गैरमामूली (असा. धारण ) ईंटों से प्रगट है। ये इंटें २० इंच लम्बी १२ इं० चौड़ी व ४ इं० मोटी हैं । यहां सिक्के मिले हैं जो नेपाल के वारमूर वंश के हैं जिसने सन् ई० से १०० वर्ष पहले से ६५० सन ई० तक राज्य किया था। इसके दक्षिण ४ मील दूसरा ध्वंश नगर है। यह कोट से घिरा है । यह ६०० फुट लम्बा व १२०० फुट चौड़ा है । बड़ी २ ईटें हैं । यहां के आदमी इन दोनों स्थानों को राजावेन की बताते हैं जिस राजा का सम्बन्ध बिलास. पुर में देवरिया की इमारतों से है।
For Private And Personal Use Only