Book Title: Niti Shatak Satik
Author(s): Bhartuhari
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________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobatirth.org Acharya Shri Kailassagarsun Gyanmandir कनवी तस्याः नीरतर वः शीग्रपतन शीलाभवंतीत्यर्थः यारशालेतरवस्मारक अवस्था वयंपासाः स्मकस्मान पनिविसंदिवसंपतिआसन्नपननात्मरणात् एतावतासंसार | स्यावस्थाईदशीवर्चने 28 योनि कालोमृत्युः काल्यासहकालराच्यासहपाणसारैःक इदानीमेतेस्मपनि दिवसमासन्नपतनाद्गनास्लुल्यावस्थासिकतिलनदी तीरतरुभिः 38 युनानेकः काचिदपिगृहेनत्रानपत्यथैकोयबाप्येक स्न दनुबहवतनचातनचका तकाचश कीडनिकाडिनमारभने कथंधतामा ल: बहकलः बव्हीकलायस्यासौगहुकला किंकुर्वन् इमो दौरजनिरिवौइस्थमनेन- || प्रकारेणअसयौविषयपाशकावेवरीलयन पक्षिपन युक्तो : यमर्थः अन्योपियो यूत For Private and Personal Use Only

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