Book Title: Niti Shatak Satik
Author(s): Bhartuhari
Publisher: 

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Page 50
________________ Shri Mahavir Jain Aradhana Kendra www.kobatirth.org Acharya Shri Kailassagarsuri Gyanmandir स्लीघान्द्रुतविविध कायमृतरसानद्वतः सुतः विविधामनरसोयेपुतान्वयन नियः अस्माकंसंशयोचनने एतेषुपरार्थेबुकिं कुर्मः योगुणाधिकसंसेचयायः 4. गंगेतिकिमि पियामःशास्त्रीयानदनाविधिकाच्यामृतरसान्नपियाफिकुर्मःकतिपयनि मेषायुपिजने 40 गैगातारेहिमगिरिशिलाबद्धपयासनस्पंचमध्यानाध्य सनावधिनायोगानद्रागतस्य निसंभावनायाम ममतैः सरियसै व्यं यच रिचसे पुजरत हरिणाः पोटमृगानिर्षिशंकाः संतश्रृंगकंपिनोदंभंगपर्षणलाला संपाप्यंते कथंभूतस्यममाहिमगिरिशिलायांबदंपग्रासनंयेननस्पकगंगातीरे पुनः किं भून स्यममयोगनिद्रांगतस्ययोगस्यानिद्रायोगनिदानांगनःमाप्तः तस्यकेनब्रह्मध्यानाभ्यसे For Private and Personal Use Only

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