Book Title: Siddhahemchandrabhidhan Swopagna Shabdanushasan Laghuvrutti
Author(s): Hemchandracharya, 
Publisher: Yashovijay Jain Pathshala

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Page 552
________________ ५५० उन्मादे १३५ रोडृ रौड़ तौड़ अनादरे १३६ क्रीड विहारे १३७ तुडृ तूडृ जौड़ तोडने १३८ हुड हुड ड्ड हौड़ गतौ १३९ खोडू प्रतिघाते १४० विड आक्रोशे १४१ अड १४२ लड उद्य विलासे हेमशब्दानुशासनस्य मदे कार्कश्ये अभियोगे हावकरणे १४३ कडु १४४ कडु १४५ अड्ड १४६ चुड्ड १४७ अण रण वण व्रण बण भण भ्रण मण घण ध्वण भ्रण कण क्वणचण शब्दे १४८ ओणू अपनयने १४९ शोण वर्णगत्योः १५० श्रोण लोण संघाते १५१ पैण १५२ चितै संज्ञाने १५३ अत सातत्यगमने आसेचने १५४ च्युत १५५ चुतृ श्चुतृ श्च्युत क्षरणे १५६ जुतृ भास १५७ अतु बन्धने गतिप्रेरणश्लेषणेषु १५८ कित १५९ ऋत निवासे घृणागतिस्पर्द्धेषु १६० कुथु पृथु लुथु मधु मन्थ मान्थ हिंसासंक्लेशयोः १६१ खाढ १६२ बद १६३ खद १६४. गद् १७० कर्द १७१ खर्द १७२ अदु १७३ इदु १७४ बिदु १७५ णिदु [ भ्वादिगणे भक्षणे स्थैर्ये १६५ रद १६६ णद ञिविदा अव्यक्ते शब्दे १६७ अर्द गतियाचनयोः १६८ नर्द गर्द गर्द शब्दे , १६९ तर्द १७६ टुनदु १७७ चदु हिंसायाम् च व्यक्तायाम् वाचि विलेखने हिंसायाम् कुत्सिते शब्दे दशने बन्धने परमैश्वर्ये अवयवे कुत्सायाम् स्मृद्धौ दीप्त्याल्हादनयोः चेष्टायाम् १७८ त्रदु १७९ कदु ऋदु क्लदु रोदनाह्नानयोः १८० क्लिदु १८१ स्कंदूं १८२ षिधु परिदेवने गतिशोषणयोः गत्याम्

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