Book Title: Rajasthan ke Jain Shastra Bhandaronki Granth Soochi Part 4
Author(s): Kasturchand Kasliwal, Anupchand
Publisher: Prabandh Karini Committee Jaipur
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प्रन्थ एवं ग्रंथकार ]
प्रथकारक नाम
गुणरत्नसू.-.गुणविनयगणि---
गुणाकरसूरि-
गोपालदास
गोपालभट्ट
गोवर्द्धनाचार्य -
गोविन्दभट्ट
गौतमस्वामी
घटकर - चंड कवि-
चन्द्रा कीर्ति
चन्द्रसूरि
वाक्य
चामुण्डराय
चारुकीति
चारित्रभूषणचारित्रसिंह
—
ग्रंथ नाम
ग्रंथ सूची की | ग्रंथकार का नाम
पत्र सं०
ਜਾ ਈ ਰਿਹਾ
रघुवंशटीका
सम्यक्त्वकौमुदीका
रूपमंजरीनाममाला
रसमंजरीटीका
सप्तशती
पुरुषार्थादुशासन
ऋषिमंडलपूजा
ऋषिस्तोत्र
१२
१६४ | चूडामणि -- चोखचन्द --
२७६ | छत्रसेन
३५९
७१५
E& जगन्नाथ
६०७
३८२
४२४, ६४६, ७३२ | जसोदास
१६४ | जयतिलक— २६२ | जयदेव -
राष्ट्रक ५६४ ० जयसागर --- ५३५ जानकीनाथसप्तपरमस्थानकथा २४६ भ० जिचन्द्र - सारस्वतदीपिका २६६ | जिनचद्रसूरि३२६, ० निनदास
वाक्यराजनीति
घटक रकाव्य
प्राकृत व्याकरण
चतुविशतितो
विमानशुद्धि
६४०, ६४६, ६८३,७१२,
७१७ ७२३, ७८७
लघुचारणक्यराजनीति ३३६
७१२, ७२०
*
२६८
ज्वरतिमिर भास्कर
भावनासारसंग्रह ५५,७७, ६१५
गोतीतराग
३५६
महीपाल चरित्र
१८६
कातन्त्रविभ्रमसूत्राय
पूरि २५७
जगतकी सि—
जगभूषण
पं० जिनदास
प्रथ नाम
रमलशास्त्र
न्यायसिद्धान्तमंजरी
चन्दन षष्ठी व्रतपूजा
चंदन षष्ट्रव्रितकथा
द्वादशव्रतोद्यापनपूजा
सौंदर्यलहरीस्तोष ४२२
२५६
३६६
२०७
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गणपाठ
[ ६१ ग्रंथ सूची की
पत्र सं०
२१०
१३६
४७३
६३१
T
नेमिनरेन्द्रस्तोत्र
सुखनिधान
दानको वीनती
निजस्मृत
गीतगोविन्द
सूर्यव्रतोद्यापनपूजा
न्यायसिद्धान्तमंजरी
सप्तपूजा
हरिवंशपुराण
सोलहकारपूजा
जलयात्राविधि
***
१३५
जिन चतुविशतिस्तोत्र ७५७ दशलक्ष व्रतोद्यापन ४५ है जम्बूद्वीपपूजा
जम्बूस्वामीचरित्र
ज्येष्ठ जिमवर लाहान नेमिनाथपुरारा
पुष्पांजली व्रतकथा
३५
१६३
४७७
५०२, ५३७ १६८
19£ !
१४७
२३४
५४८
१५६
७६५
होली रेणुकाचरित्र प्रकृत्रिमजिनचैत्यालय
६८३
२११
पूजा ४५३
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