Book Title: Tattvarthashloakvartikalankar Part 03
Author(s): Suparshvamati Mataji
Publisher: Suparshvamati Mataji

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Page 11
________________ तत्त्वार्थश्लोकवार्तिक 6 यथाशीघ्र प्रकाशन हेतु सतत प्रेरणा करने वाली पूज्य आर्यिका गौरवमती माताजी के चरणों में सविनय वन्दामि निवेदन करता हूँ। पं. मोतीचन्दजी कोठारी की तैयार की हुई पाण्डुलिपि से भी मूल संस्कृत पाठ का मिलान किया है अतएव मैं उनका भी आभारी हूँ। हिन्दी टीकाकार सिद्धान्तमहोदधि, स्याद्वादवारिधि, न्यायदिवाकर पं. माणिकचन्दजी कौन्देय, न्यायाचार्य की अगाध विद्वत्ता एवं अभिनन्दनीय प्रतिभा को सादर नमन करता हूँ जिनकी पाण्डित्यपूर्ण भाषा टीका तत्त्वार्थ चिन्तामणि' से प्रस्तुत संस्करण को सँवारने में अप्रतिम सहायता मिली है। ग्रन्थ के प्रकाशक श्रीमान् पन्नालालजी पाटनी, कोलकाता को हार्दिक धन्यवाद देता हूँ। कम्प्यूटरकार्य के लिए निधि कम्प्यूटर्स के डॉ. क्षेमंकर पाटनी व उनके सहयोगियों को हार्दिक धन्यवाद देता हूँ। शोभन एवं सुरुचिपूर्ण मुद्रण के लिए हिन्दुस्तान प्रिंटिंग हाउस, जोधपुर को धन्यवाद देता हूँ। सम्यग्ज्ञान के इस महदनुष्ठान में यत्किंचित् सहयोग देने वाले सभी भव्यों के प्रति हार्दिक आभार व्यक्त करता हूँ और सम्पादन-प्रकाशन कार्य में रही भूलों के लिए स्वाध्यायी बन्धुओं से क्षमायाचना करता Onch दीपमालिका 2009 विनीत 6. डॉ. चेतनप्रकाश पाटनी 54-55 इन्द्रा विहार सेक्शन 7 विस्तार न्यू पावर हाउस रोड जोधपुर - 342003

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