Book Title: Agam 12 Upang 01 Aupapatik Sutra Ovaiyam Terapanth
Author(s): Tulsi Acharya, Mahapragna Acharya
Publisher: Jain Vishva Bharati

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Page 260
________________ वंत - जनबोल ५६६,५६७ जंत [ यन्त्र ] ओ० १४ १२६,६७१. जी० रा० १७, १८, २०,३२, २८८, ३००,३७२ जंतकम् [ यन्त्रकर्मन् ] ओ० ६४. रा० १७३,६५१. जी० ३।२८५ अंतवाडचल्ली [ यन्त्रपाटचुल्ली ] जी० ३१११८ बुद्दी [ जम्बूद्वीप ] ओ० १७०. रा० ७ से १०, १३,१५,५६,१२४,६६० जी० ३८६, २१७, २१६ से २२१.२२७२५६,२६०,२६६. ३००,३५१.४४५,५६६, ५६८ से ५७७,६३८, ६६०,६६५,६६६,६६८,७०१ से ७०४,७०८, ७२३,७३६,७४०,७४२,७४५,७५०, ७५४, ७६२,७६४ से ७६६,७७५,७६५.६१६ से २२, ६५३,१०३६,१०७४, १०५० जंबुद्दीवग [ जम्बूद्वीपक] जी० ३।७०६,७१०, ७६२,७६४ से ७६६, ८१४ जंबुद्दीवाहिवति [जम्बूद्वीपाधिपति] जी० ३।७१५ जंबूपेठ ] जम्बूपीठ ] जी० ३१६६८,६६९ जंबू [जम्बू ] जी० ११७१: ३।६६८, ६७२,६७३, ६७८ से ६८३,६८८,६८६,६९२ से ७००, ७६५ जंबूदमय [ जाम्बूनदमय ] जी० ३।३२३ जंबूणय [ जाम्बूनद ] रा० १५६,२२८. जी० ३३३३२, ३८७, ६७२ अंबूजयम [ जाम्बूनदमय ] रा० ३७,१५०. जी० ३१३११,४०७, ६४३ जंबूणयामय [ जाम्बूनदमय] रा० १३५,१८८, २४५. जी० ३।३०५,३६१,६६६,६६६, ८३६ जंबूदीव [ जम्बुद्वीप ] जी० ३७००,७५४,१००१, १००७, १०२२ जंबूदीवाहिति [ जम्बूद्वीपाधिपति ] जी० ३३७०० जंबूपल्लवपविभत्ति [ जम्बू पल्लवप्रविभक्त ] रा० १०० जंबूपेठ [ जम्बूपीठ ] जी० ३१६६८,६७० Jain Education International अंबूफस [ जम्बूफल ] ओ० १३. रा० २५. जी० ३२७८ जंबूफलकालिया [ जम्बूफलका लिया ] जी० ३१८६० जंबूरुक्ख [ जम्बूरूक्ष ] जी० ३१७०२ जंबूवण | जम्बूवन ] जी० ३।७०२ जंबूड [ जम्बूषण्ड ] जी० ३ ७०२ जंभात्ता | जृम्भयित्वा ] जी० ३१६३० जख [ यक्ष ] ओ० ४६, १२०,१६२. रा० ६६८, ७५२,७८६. जी० ३७८०, ६४७, ६५० Grant [ यक्षग्रह ] जी० ३१६२८ treaser | यक्षप्रतिमा ] रा० २५७. जी० ३१४१८ जलमंडलपविभति [यक्षमण्डलप्रविभक्ति | रा० ६० क्aमह [यक्षमह ] रा० ६८८. जी० ३३६१५ क्वालित [ यक्षादीप्त ] जी० ३१६२६ अगईपव्यय [ जगतीपर्वत ] रा० १८१ जगपव्यय [ जगतीपर्वतक ] रा० १८० जगती [जगती ] जी० ३ २६० से २६३,२७३, २६८ गतीपयम [ जगतीपर्वतक ] जी० ३२६२ अघण [ जघन ] ओ० १५ ६२५ [जात्य ] ओ० १६,६४. जी० ३ ५६६,५१७, ८५४,८७८ जच्चकणग [ जात्यकनक] ओ० २७. रा० ८१३ गुलु | जय हिंगुलुक ] जी० ३१५१० जज्जरिय [ जर्जरित ] रा० ७६०, ७६१ जडि [ जटिन् ] ओ० ६४ जड्डु [जाड्य ] रा० ७३२,७३५,७६५ जण [जन ] ओ० १,६,६८,११६. रा० १२३, ७६६ जणइत्ता [ जनयित्वा ] मो० ६६ जणउम्मि [जनोमि ] रा० ६८७,७१२ जणकलकल | जन कलकल ] ओ० ५२. रा० ६८७, ६८८,७१२ जणक्य [ जनक्षय ] जी० ३६२८ जणबोल [ जनबोल ] ओ० ५२. ० ६८७,७१२ For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org

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